जयभीम बोलने वाले बसपाई मुश्किल में
इस फतवे के जारी होने से बसपा के मुस्लिम नेता व कार्यकर्ता मुश्किल में पड़ गये हैं। दारूल उलूम देववंद के फतवा विभाग की खंडपीठ के तीन सदस्य मुफ्ती हवीबुर्रहमान, मुफ्ती महमूद हसन व मुफ्ती जेनुल इस्लाम ने फतवा जारी कर कहा कि इस्लाम में खुदा परस्ती के अलावा किसी अन्य की बंदगी जायज नहीं है।
फतवे के अनुसार जयभीम का उच्चारण गैर इस्लामी है। फतवे में आगे कहा गया कि ऐसे शब्द जिसमें खुदा के अलावा किसी दूसरे की परस्ती का अर्थ निकलता हो जायज नही है।
दारूल अलूम से डॉ. मोहम्मद मेराज खान ने पूछा था कि बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की परंपरा के अनुसार जयभीम बोलने के संबंध में शरीयत कानून क्या कहना है क्या मुसलमान के लिए ऐसा बोलना जायज है।
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