आतंकवाद का सफाया कर के रहेंगे : चिदंबरम
चिदंबरम, रविवार को यहां आयोजित कांग्रेस के एक सम्मेलन में बोल रहे थे। उन्होंने कहा, "हमें दो तरह के समूहों से आतंकी खतरों का सामना करना पड़ रहा है। एक अपने आप को जिहादी कहते हैं, और दूसरे हिंदू आतंक के नाम पर भारत निर्माण की बात करते हैं। हमें हर तरह के आतंक से लड़ना है।"
गृह मंत्री ने कहा, "आतंक के प्रति हमारी जिम्मेदारी मजबूत, सख्त, सटीक व निर्णायक होगी। हमारी नीति में आतंक के प्रति जरा भी रियायत नहीं है। हम इसके पीछे लगे रहेंगे और इसका पूरी तरह सफाया करेंगे।"
चिदंबरम ने घरेलू सुरक्षा के लिए तीन चुनौतियां गिनाइर्ं। पूर्वोत्तर में उग्रवाद, माओवादी धमकी और आतंकवाद। चिदंबरम ने कहा कि सरकार पूर्वोत्तर के उग्रवादियों के साथ बातचीत करना चाहती है। खासतौर से मणिपुर, असम व नागालैंड के उग्रवादियों के साथ।
गृहमंत्री ने कहा, "हम उन सभी से बातचीत करना चाहते हैं, जिन्होंने हिंसा का रास्ता पकड़ लिया है। लेकिन आतंकवाद का मुकाबला तो सुरक्ष बल ही करेंगे और सरकार विकास पर अपना ध्यान लगाएगी। हम पूर्वोत्तर में लगातार पैसा लगाते रहेंगे।"
नक्सलवाद के मुद्दे पर उन्होंने कहा, "नक्सलवाद का मुकाबला सख्ती के साथ किया जाएगा। नक्सलवाद प्रभावित इलाकों में विकास कार्य अवरुद्ध हो गए हैं। हम सड़कें बनातें हैं, वे सड़कों को खोद डालते हैं। लेकिन सुरक्षा बल के हमारे जवान लोकतंत्र की रक्षा के लिए अपनी कुर्बानी देने को तैयार हैं।"
चिदंबरम ने कहा कि 21वीं सदी एशिया की होगी। इस दौरान भारत व चीन को प्रमुख भूमिका निभानी होगी।