तालिबानियों ने 5 लोगों की हत्या कर वीडियो जारी किया
समाचार एजेंसी ईरना ने बुधवार को खबर दी कि पेशावर के पत्रकारों को भेजे गए इस वीडियो में पांचों पीड़ितों का 'इकबालिया बयान' दिखाया गया है। इसमें उन सभी ने कहा है कि उन्होंने पाकिस्तानी और अमेरिकी अधिकारियों को संगठन पर हमला करने के लिए 'गोपनीय सूचनाएं मुहैया' करवाईं।
पाकिस्तान के कबायली क्षेत्र के एक मकान पर 29 जनवरी को हुए अमेरिकी हमले में अल कायदा का प्रमुख सदस्य अबु लैत अल लिबी 11 अन्य लोगों के साथ मारा गया था।
45 मिनट के इस वीडियो में पांचों पीड़ितों को एक-एक करके अपनी पहचान बताते और यह बात कबूलते दिखाया गया है कि किस तरह उन्होंने अल-लिबी के ठिकाने का पता लगाया जिसके परिणामस्वरूप वहां अमेरिकी हमला हुआ।
'किसास और इबरात' (बदला एवं चेतावनी)नाम के इस वीडियो में पश्तो में एक संदेश भी दिया गया है। इस संदेश में कहा गया है, "आप लोगों ने हमारे मुल्क में पनाह लेने वाले कई प्रिय अरबों को मारने का जघन्य कृत्य किया है।" वीडियो की पृष्ठभूमि में हमले में तबाह मकान दिखाई दे रहा है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि स्थानीय प्रशासन ने उत्तरी वजीरिस्तान के विभिन्न हिस्सों से ये शव बरामद किए हैं।
उधर बीबीसी उर्दू की वेबसाइट के मुताबिक पाकिस्तानी सेना के प्रवक्ता मेजर जनरल अतहर अब्बास ने यह कहकर इस दावे को गलत बताया है कि सरकार ने कोई भी खुफिया सूचना अमेरिकियों को उपलब्ध नहीं करवाई।
अब्बास ने कहा कि मारे गए लोगों के इकबालिया बयान के बारे में वे कोई टिप्पणी नहीं करना चाहते क्योंकि उन्होंने अभी तक यह वीडियो नहीं देखा है।
पाकिस्तानी अधिकारियों का मानना है कि अगस्त से अमेरिका कबायली क्षेत्र में 32 मिसाइल हमले कर चुका है। अमेरिका का कहना है कि इन हमलों का लक्ष्य अल कायदा और तालिबानी आतंकवादियों का सफाया करना है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।