गंगा की खातिर फिर से आमरण अनशन करेंगे जी. डी. अग्रवाल
दिल्ली स्थित प्रेस क्लब में पत्रकारों से बातचीत करते हुए अग्रवाल ने कहा, "पिछली बार जब मैंने आमरण अनशन किया था तो उत्तराखंड सरकार ने अपनी दो परियोजनाओं को स्थगित करने का फैसला किया था और लोहानी नागपाला परियोजना के संदर्भ में केंद्र सरकार से बातचीत करने का आश्वासन भी दिया था।"
दरअसल, अग्रवाल की मांग है कि गंगोत्री से उत्तरकाशी तक पड़ने वाले गंगा के 125 किलोमीटर लंबे मार्ग में कोई परियोजना न बनाई जाए और गंगा के बहाव को बरकरार रखने के लिए 20 क्यूसेक पानी छोड़ा जाए।
उल्लेखनीय है कि इसी संदर्भ में एनटीपीसी के अध्यक्ष आर.एस. शर्मा ने 11 सदस्यीय एक उच्च स्तरीय समिति का गठन किया था जिसका उद्देश्य गंगोत्री से उत्तरकाशी तक गंगा के बहाव को बरकरार रखने के उपायों पर नजर रखना था।
पर्यावरणविद् राजेंद्र सिंह ने कहा कि गंगा का शोषण नहीं किया जा सकता क्योंकि यह भारत में जीविकोपार्जन का एक माध्यम है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।