शेयर बाजारों में मातम छाया
सेंसेक्स 10 अगस्त 2006 के बाद पहली बार 600 अंकों की गिरावट के साथ 11,000 के अंक के नीचे फिसल गया है। आज सेंसेक्स और निफ्टी दोनों ही गिरावट के साथ खुले। एशियाई बाज़ार में गिरावट का असर भारतीय बाज़ारों पर भी साफ दिखाई दिया। जापान का निक्केई 6.5 परसेंट नीचे चला गया।
भारतीय शेयर बाजारों की आज की शुरुआत बेहद खराब रही। खुलते ही शेयर बाजार तेजी से लुढ़क गए। सुबह 10 बजे निफ्टी 154 अंक नीचे 3452 पर चल रहा था। जबकि सेंसेक्स 534 अंक नीचे 11160 पर था।
सुबह
साढ़े
दस
बजे
सेंसेक्स
650
अंकों
की
गिरावट
के
साथ
11044
पर
ट्रेड
कर
रहा
था
जबकि
निफ्टी
192
अंक
नीचे
3413
पर
कारोबार
कर
रहा
था।
आज
के
कारोबार
में
गिरने
वाले
शेयरों
में
खासतौर
पर
टाटा
स्टील,
रिलायंस
इंफ्रा,
जेपी
एसोसिएट्स,
टाटा
पावर,
रिलायंस
कम्युनिकेशन,
विप्रो,
डीएलएफ
और
यूनिटेक
जैसे
दिग्गज
लो
पर
ट्रेड
करते
दिखाई
दिए।
भारतीय शेयर बाजारों के लिए आज संकेत अच्छे नहीं है। एशियाई बाजार लुढ़के हुए हैं जबकि अमेरकी बाजारों में कल लगातार पांचवें दिन भी गिरावट रही।
शेयर बाजारों में गिरावट केवल भारत में ही नहीं देखने को मिली है। उधर जापान के निक्केई और हैंगसेंग समेत कई अन्य एशियाई शेयर बाजारों में लगभग 5 परसेंट की गिरावट दर्ज हुई। ब्रिटेन में आज बैंकों के लिए रेसक्यू पैकेज का ऐलान किये जाने की योजना बनाई जा रही है। अमेरिकी बाजार में चल रही मंदी को देखते हुए अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने कहा कि वो इंटरेस्ट रेट घटाने के लिए तैयार है।
बताया जा रहा है कि भारतीय स्टॉक एक्सचेंज पर वैश्विक बाजारों में अमेरिकी वित्तीय संकट का असर है। यहां सभी एशियाई शेयर बाजार बड़ी गिरावट में हैं जो मंगलवार को अमेरिकी बाजारों के टूटने के कारण इस स्थिति में पहुंचे हैं। अमेरिकी बाजार में कल डाओ जोंस 508 और नैस्डेक 108 अंक टूट गया।
इस
समय
बीएसई
के
क्षेत्रीय
सूचकांकों
में
कोई
भी
बढ़त
पर
नहीं
है।
उपभोक्ता
टिकाऊ
क्षेत्र
दस
फीसदी
से
ज्यादा
की,
आईटी,
धातु,
अचल
सम्पत्ति
क्षेत्र
आठ
प्रतिशत
से
ज्यादा
की,
पूंजीगत
वस्तु,
तकनीकी
क्षेत्र
सात
प्रतिशत
से
ज्यादा
की,
बैंक,
ऊर्जा,
फार्मा
सूचकांक
छः
प्रतिशत
से
ज्यादा
की,
तेल
व
गैस,
वाहन
क्षेत्र
पांच
प्रतिशत
से
ज्यादा
की
तथा
पीएसयू,
एफएमसीजी
सूचकांक
चार
प्रतिशत
से
ज्यादा
की
गिरावट
में
हैं।