पाकिस्तान में राजनीतिक संकट, सत्ताधारी गठबंधन टूटा (लीड-3)
इस्लामाबाद, 25 अगस्त (आईएएनएस)। पूर्व राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ द्वारा बर्खास्त किए गए जजों की बहाली के मुद्दे पर पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के नेतृत्व वाली गठबंधन सरकार से समर्थन वापस ले लिया है। इसके साथ ही पाकिस्तान की दो प्रमुख पार्टियों का छह माह पुराना गठबंधन टूट गया है।
इस्लामाबाद, 25 अगस्त (आईएएनएस)। पूर्व राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ द्वारा बर्खास्त किए गए जजों की बहाली के मुद्दे पर पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के नेतृत्व वाली गठबंधन सरकार से समर्थन वापस ले लिया है। इसके साथ ही पाकिस्तान की दो प्रमुख पार्टियों का छह माह पुराना गठबंधन टूट गया है।
राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ के त्यागपत्र देने के एक सप्ताह बाद ही पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के सत्ताधारी गठबंधन से अलग होने की वजह से पाकिस्तान एक बार फिर राजनीतिक अस्थिरता की ओर बढ़ गया है।
नवाज शरीफ शुरू से ही मुशर्रफ द्वारा बर्खास्त किए गए 60 वरिष्ठ जजों को बहाल करने की वकालत करते रहे हैं।
खचाखच भरे संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए शरीफ ने कहा कि उनकी पार्टी पाकिस्तान मुस्लिम लीग (पीएमएल-एन) को सरकार से समर्थन वापसी के लिए मजबूर होना पड़ा है। उन्होंने कहा कि हमारे पास समर्थन वापस लेने के अलावा और कोई विकल्प नहीं था।
इस मौके पर उन्होंने अपनी पार्टी की ओर से पूर्व मुख्य न्यायाधीश सईद उज जमां सिद्दीकी को राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाने की घोषणा की।
शरीफ ने कहा कि पीपीपी के वरिष्ठ नेता आसिफ अली जरदारी ने वादा किया था कि परवेज मुशर्रफ को राष्ट्रपति के पद से त्याग पत्र देने के अगले ही दिन बर्खास्त जजों की बहाली कर दी जाएगी, लेकिन इस मियाद के पूरा हो जाने के एक सप्ताह बाद भी जजों की बहाली नहीं की गई।
उन्होंने कहा कि जरदारी ने राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार के रूप में अपनी उम्मीदवारी की घोषणा करके भी उस समझौते का उल्लंघन किया है, जिसमें कहा गया था कि किसी ऐसे व्यक्ति को राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाया जाएगा जिसकी छवि साफ-सुथरी व दलगत राजनीति से ऊपर हो और साथ ही वह गठबंधन के घटक दलों को मान्य हो।
शरीफ की पार्टी ने अब विपक्ष में बैठने का फैसला किया है। इसकी घोषणा करते हुए कहा शरीफ ने कहा, "हमारी पार्टी जजों की बहाली के मुद्दे पर अपना संघर्ष जारी रखेगी। साथ ही पाकिस्तान में पूरी तरह से लोकतंत्र बहाल करने के लिए वह अपना अभियान जारी रखेगी।"
पाकिस्तान में छह सितम्बर को राष्ट्रपति पद का चुनाव प्रस्तावित है। शरीफ ने बहरहाल सिद्दीकी को अपनी पार्टी की ओर से राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाया है।
उल्लेखनीय है कि पूर्व राष्ट्रपति मुशर्रफ द्वारा पिछले वर्ष नवंबर माह में बर्खास्त किए गए जजों की बहाली के मुद्दे पर सत्ताधारी पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) और पीएमएल-एन के बीच लंबे समय से विवाद चल रहा है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।
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