भारत, चीन और अमेरिका दोहा वार्ता का समाधान निकाले : विश्व बैंक
वाशिंगटन, 19 अगस्त (आईएएनएस)। विश्व बैंक समूह के अध्यक्ष राबर्ट बी. जोइलीक चाहते हैं कि अमेरिका, भारत और चीन विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) के महानिदेशक पास्कल लैमी के साथ बातचीत कर दोहा दौर की वार्ताओं का समाधान निकालें।
वाशिंगटन, 19 अगस्त (आईएएनएस)। विश्व बैंक समूह के अध्यक्ष राबर्ट बी. जोइलीक चाहते हैं कि अमेरिका, भारत और चीन विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) के महानिदेशक पास्कल लैमी के साथ बातचीत कर दोहा दौर की वार्ताओं का समाधान निकालें।
सोमवार को जारी एक बयान ने जोइलीक ने कहा कि विकासशील देश ब्राजील, जो एक मुख्य कृषि निर्यातक है और वहां पर काफी गरीब किसान रहते हैं, इस वार्ता में सहायता कर सकता है। इंडोनेशिया और आस्ट्रेलिया भी समाधान निकालने में सहायता कर सकते हैं।
जोइलीक ने कहा, "जेनेवा में डब्ल्यूटीओ वार्ताओं के बाद कुछ पक्ष मान रहे हैं कि बातचीत में एक अच्छे पैकेज पर सहमति नहीं बन पाई। यह विश्व अर्थव्यवस्था के लिए ठीक नहीं है और इससे विकासशील देशों को नुकसान पहुंचेगा।"
उन्होंने ब्राजील के राष्ट्रपति लुला डा सिल्वा को सही ठहराते हुए कहा कि कृषि के लिए विशेष सेफगार्ड के मुद्दे पर राय नहीं बनने के कारण डब्ल्यूटीओ वार्ता को विफल करार नहीं दिया जाना चाहिए।
अमेरिका, भारत और चीन से लैमी के साथ मिलकर एक समाधान निकालने की अपील करते हुए जोइलीक ने कहा कि विश्व में खाद्य पदार्थो की उच्च कीमतों और गरीब लोगों के लिए खाद्यानों की कीमतों को कम करने की जरूरत को देखते हुए दोहा दौर की वार्ता की बाधाओं को दूर करने की आवश्यकता है।
समस्या के समाधन के लिए रास्ता सुझाते हुए जोइलीक ने कहा, "सेफगार्ड का उद्देश्य आयात में होने वाली वृद्धि से स्थानीय किसानों पर पड़ने वाले प्रभाव को नियंत्रित करना है लेकिन व्यापार बढ़ने के बाद की स्थिति में न्यायोचित व स्वीकार्य सेफगार्ड की जरूरत पड़ेगी।"
उन्होंने कहा कि सेफगार्ड के साथ एक बड़ी समस्या यह है कि इसे लागू करने में एक देश को करीब दो वर्ष लग जाएंगे तब व्यापार के रास्ते में नई बाधाएं उत्पन्न हो जाएंगी। ऐसे में इसमें तेजी लाने की जरूरत है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।
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