ग्रामीण समस्याओं पर प्रधानमंत्री को अपना बचपन याद आया
नई दिल्ली, 15 अगस्त (आईएएनएस)। स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर देश के ग्रामीण इलाके के लोगों की समस्याओं का जिक्र करते हुए प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने अपने बचपन के उन दिनों को याद किया जब वे रात के समय केरोसिन लैंप की रोशनी में पढ़ाई किया करते थे। उन्होंेने कहा कि अभी भी देश के बहुत से लोग सड़कों, बिजली और स्वच्छ पेयजल के अभाव में जिंदगी गुजार रहे हैं।
नई दिल्ली, 15 अगस्त (आईएएनएस)। स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर देश के ग्रामीण इलाके के लोगों की समस्याओं का जिक्र करते हुए प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने अपने बचपन के उन दिनों को याद किया जब वे रात के समय केरोसिन लैंप की रोशनी में पढ़ाई किया करते थे। उन्होंेने कहा कि अभी भी देश के बहुत से लोग सड़कों, बिजली और स्वच्छ पेयजल के अभाव में जिंदगी गुजार रहे हैं।
देश के 62 वें स्वतंत्रता दिवस पर लाल किले से राष्ट्र को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा,"मैंने अपने जीवन के आरंभिक 10 साल जिस गांव में बिताए, वहां बिजली नहीं थी, स्वच्छ पेयजल की आपूर्ति नहीं थी, कोई डाक्टर नहीं था और न ही सड़क तथा टेलीफोन था। मैं स्कूल जाने के लिए मीलों पैदल चलता था।"
उन्होंने कहा,"मैं रात में केरोसिन लैंप की कम रोशनी में पढ़ाई करता था। स्वतंत्रता के बाद देश के ग्रामीण इलाकों में काफी विकास हुआ है,लेकिन अभी भी बहुत से देशवासी मेरे बचपन के दिनों की तरह जीवन बिता रहे हैं।"
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।
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