अमरनाथ विवाद : जम्मू-कश्मीर हिंसा में 11 मरे, प्रधानमंत्री ने फिर बुलाई बैठक (लीड-2)
श्रीनगर/जम्मू, 12 अगस्त (आईएएनएस)। राज्य के दोनों क्षेत्रों जम्मू और कश्मीर के अलग-अलग इलाकों में आज कर्फ्यू तोड़कर हिंसा पर उतारू प्रदर्शनकारियों पर सुरक्षाकर्मियों द्वारा की गई गोलीबारी में 11 लोगों की मौत हो गई, जबकि 70 से अधिक लोग घायल हो गए।
इस बीच अनियंत्रित होती हिंसा से चिंतित प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने बुधवार को दूसरी बार सर्वदलीय बैठक बुलाई है। बैठक का उद्देश्य विवाद का ऐसा समाधान निकालना है जो जम्मू और कश्मीर दोनों क्षेत्रों के लोगों को स्वीकार्य हो।
श्रीअमरनाथ श्राइन बोर्ड भूमि विवाद को लेकर जम्मू क्षेत्र में कथित 'आर्थिक नाकेबंदी' के खिलाफ कश्मीर घाटी के श्रीनगर, लासजान, बांदीपोरा और नागाबल इलाकों में प्रदशर्नकारियों पर पुलिस फायरिंग की रिपोर्टे आईं हैं।
लासजान में एक महिला समेत तीन लोगों की मौत हो गई। यहां पूर्व मंत्री और पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी के वरिष्ठ नेता जावेद मुस्तफा मीर पर भीड़ द्वारा किए गए हमले के बाद दहशत में उनके अंगरक्षक ने गोली चला दी। इस घटना में एक पुलिस अधिकारी भी घायल हो गया।
पुराने श्रीनगर के रैनावाड़ी में हिंसक भीड़ को तितर-बितर करने के लिए अर्धसैनिक बलों द्वारा चलाई गई गोली में एक बच्चे की मौत हो गई जबकि कई अन्य घायल हो गए। यहां भीड़ ने नेशनल कांफ्रें स के वरिष्ठ नेता सईद अखून के घर को जला दिया।
श्रीनगर के बाहरी क्षेत्र करलपोरा में फायरिंग में एक व्यक्ति की मौत हो गई। यहां से करीब 52 किलोमीटर दूर बांदीपोरा में कर्फ्यू तोड़कर प्रदर्शन कर रहे लोगों पर सेना द्वारा की गई फायरिंग में तीन लोग मारे गए।
उत्तरी कश्मीर के गंडेरबाल जिले के नगाबाल क्षेत्र में अर्धसैनिक बलों के जवानों द्वारा की गई फायरिंग में एक व्यक्ति की मौत हो गई।
प्रदर्शनकारियों ने श्रीनगर में राज्य परिवहर निगम के परिसर में खड़े कई वाहनों को क्षतिग्रस्त कर दिया। उधर, हजारों प्रदर्शनकारियों ने हुर्रियत कांफ्रेस के उदारवादी धड़े के प्रमुख मीरवाइज उमर फारूक के निवास तक पहुंचे की कोशिश की। फारूक को उनके घर में नजरबंद किया गया है। यहां प्रदर्शनकारियों की सुरक्षाकर्मियों के साथ झड़पें हुईं।
जम्मू क्षेत्र के किश्तवाड़ शहर में भी प्रदर्शन को सांप्रदायिक रंग लेता देख पुलिस को गोलियां चलानी पड़ीं, जिसमें दो लोगों की मौत हो गई।
कश्मीर घाटी में सोमवार को पुलिस फायरिंग में एक हुर्रियत नेता सहित पांच लोगों की मौत के बाद पूरे राज्य में स्थिति तनावपूर्ण हो गई है।
इससे पहले पिछले सप्ताह गृहमंत्री शिवराज पाटिल के नेतृत्व में राज्य के दौरे पर गया सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल किसी मान्य समाधान पर नहीं पहुंच सका था।
एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने कहा कि मंगलवार को भी नेताओं की बैठक हुई लेकिन किसी मान्य समाधान तक नहीं पहुंचा जा सका।
पांच अगस्त को हुई बैठक में प्रधानमंत्री ने शांति बनाए रखने की अपील की थी और एक सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल को राज्य के दौरे पर भेजने की बात कही थी।
पिछले दो माह से राज्य के दोनों क्षेत्रों में श्रीअमरनाथ श्राइन बोर्ड को पहले जमीन आवंटित करने और फिर वापस लिए जाने को लेकर हिंसक विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं। इन प्रदर्शनों में कई लोगों की मौत हो चुकी है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।
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