हिंद्राफ की सरकार और विपक्ष से अपील
कुआलालंपुर, 13 मई (आईएएनएस)। मलेशिया के हिंदू राइट्स एक्शन फोर्स (हिंद्राफ) ने गिरफ्तार नेताओं की रिहाई के प्रयास जारी रखते हुए सरकार और विपक्ष से अपील की है। विपक्ष ने भी इस मामले में अपनी ओर से प्रयास शुरू कर दिए हैं।
समाचार पत्र 'द स्टार' के अनुसार दो विपक्षी नेता वान अजीजा अन इस्माइल और लिम किट सियांग सोमवार को हिंद्राफ के एक प्रतिनिधिमंडल से मिले। विपक्षी नेताओं ने बाद में कहा कि उन्होंने संसद में मामला उठाने का प्रयास किया, लेकिन उन्हें इसकी इजाज़त नहीं दी गई।
हिंद्राफ ने प्रधानमंत्री अब्दुल्ला अहमद बदावी से भी अनुरोध किया कि वह कारागार कैंप में स्वयं जाकर हालात का जायजा लें। हिंद्राफ के अनुसार वहां कैद उनके नेताओं और अन्य लोगों का जीवन सुरक्षित नहीं है।
हिंद्राफ के राष्ट्रीय संयोजक आर. एस. थनेंथिरन ने कहा, "वहां पीने का पानी प्रदूषित है और कुल मिलाकर हालात बहुत खराब हैं जो कैदियों और सुरक्षाकर्मियों के लिए हितकारी नहीं हैं।"
उन्होंने कहा, "प्रधानमंत्री को समय निकालकर कैंप के हालात देखने चाहिए। हमारा मानना है कि उन्हें कैंप के बारे में गलत सूचना दी गई है।"
उल्लेखनीय है कि गत वर्ष नवंबर में एक प्रदर्शन के दौरान हिंद्राफ के पांच नेताओं, एम. मनोहरन, पी. उथयकुमार, वी. गणबातिराव, आर. केंगाधरन और के. वसंत कुमार को आंतरिक सुरक्षा अधिनियम (आईएसए) के अधीन गिरफ्तार किया गया था। वह गत दिसंबर से दो वर्ष की सजा भुगत रहे हैं।
उधर मलेशियन इंडियन कांग्रेस (एमआईसी) ने कहा है कि हिंद्राफ के नेताओं की गिरफ्तारी उनको जरूरत से ज्यादा महत्वपूर्ण बना रही है। एमआईसी के युवादल प्रमुख एस. ए. विग्नेसवरन ने कहा कि यदि हिंद्राफ के नेता राष्ट्र के लिए खतरा नहीं हैं तो उन्हें छोड़ देना चाहिए।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।