'पाकिस्तान की नई न्यायपालिका भी स्वतंत्र नहीं होगी'
इस्लामाबाद, 3 मई (आईएएनएस)। पाकिस्तान में बर्खास्त न्यायाधीशों की 12 मई को बहाली के बाद न्यायपालिका में दो तरह के न्यायाधीश दिखाई देंगे। एक तो वह जो राष्ट्रपति मुशर्रफ के सामने झुक गए दूसरे वह जिन्होंने उनके सामने झुकने से इंकार कर दिया।
इससे पाकिस्तान के उन लाखों लोगों को निराशा हो सकती है जो बर्खास्त न्यायाधीशों की बहाली के बाद एक स्वतंत्र न्यायपालिका की आशा लगाए हुए हैं।
समाचार पत्र 'द न्यूज' की रिपोर्ट में बताया गया कि बर्खास्त न्यायाधीशों की बहाली के बाद अब सर्वोच्च न्यायालय में 26 न्यायाधीश हो जाएंगे। न्यायाधीशों की बहाली 'प्रांतीय संवैधानिक आदेश और आपात नियम' कानून के तहत हो रही है। इस कानून की पाकिस्तान में काफी आलोचना होती रही है।
गौरतलब है कि न्यायाधीशों की बहाली के मुद्दे पर सत्तारूढ़ गठबंधन में शामिल पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) और पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के बीच संबंध तनावपूर्ण हो गए थे। लेकिन शुक्रवार को न्यायाधीशों की बहाली पर सहमति के बाद उनके बीच तनाव समाप्त हो गया।
पीएमएल-एन नेता नवाज शरीफ ने मीडिया को बताया कि नेशनल असेंबली 12 मई को एक प्रस्ताव पास करेगी और सरकार एक आदेश जारी करके उसी दिन न्यायाधीशों को उनकी पूर्व की स्थिति पर बहाल कर देगी।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।