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फेडरल रिजर्व ने फिर की ब्याज दरों में कटौती (लीड)

By Staff
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नई दिल्ली, 1 मई (आईएएनएस)। आखिरकार वही हुआ जिसकी विशेषज्ञों को उम्मीद थी। अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने लगातार चौथी बार ब्याज दरों में कटौती की घोषणा कर ही दी।

नई दिल्ली, 1 मई (आईएएनएस)। आखिरकार वही हुआ जिसकी विशेषज्ञों को उम्मीद थी। अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने लगातार चौथी बार ब्याज दरों में कटौती की घोषणा कर ही दी।

फेड के अनुसार आर्थिक अनुमान अभी भी उत्साहवर्धक नहीं हैं लेकिन उसने साथ में इस बात के संकेत भी दिए कि आनेवाले समय में बैंक ब्याज दरों में और कटौती की घोषणा नहीं करेगा।

फेडरल ओपन मार्केट कमेटी यानी (एफओएमसी) की बुधवार को हुई बैठक में मौजूदा वर्ष के दौरान लगातार चौथी बार ब्याज दरों में 25 बेसिस प्वाइंट यानी चौथाई फीसदी की कटौती कर इसे 2 फीसदी तक कर दिया गया है। केंद्रीय बैंक सितंबर 2007 से अब तक ब्याज दरों में कुल 3.25 फीसदी की कटौती कर चुका है। वर्ष की शुरुआत में ब्याज दर 4.25 फीसदी के स्तर पर थी। डलास फेडरल रिजर्व के अध्यक्ष रिचर्ड फिशर व फिलाडेल्फिया के अध्यक्ष चार्ल्स प्लाशर इस निर्णय से असहमत दिखे। दोनों सदस्य ब्याज दरों में कटौती के पक्ष में नहीं थे।

फेड से जारी बयान के अनुसार ब्याज दरों में कटौती का उद्देश्य बाजार में मुद्रा की तरलता को व्यावहारिक स्तर पर बरकरार रखना है ताकि देश के दीर्घकालीन विकास की गति पर नकारात्मक प्रभाव न पड़े और आसन्न मंदी के संकट को प्रभावहीन किया जा सके।

लेकिन फेड से जारी बयान में इस बात के संकेत भी मिले हैं कि बैंक की प्राथमिकता में अब मुद्रास्फीति से जूझना सबसे बड़ी चुनौती है न कि मंदी से । आर्थिक विशेषज्ञ इस संकेत के बाबत यह मानकर चल रहे हैं कि फेडरल रिजर्व अपनी अगली बैठक में ब्याज दरों में कटौती न करे।

जेपी मार्गेन से संबंधित अर्थशास्त्री जेम्स ग्लासमैन के अनुसार फेड का निर्णय अप्रत्याशित नहीं है। उनके मुताबिक फेड फिलहाल मौजूदा आर्थिक परिघटनाओं पर ध्यान केंद्रित किए हुए है और भविष्य के लिए कोई सपष्ट संकेत देने से बच रहा है।

बाजार समीक्षकों के अनुसार अमेरिकी वाणिज्य विभाग से कल ही जारी सकल घरेलू उत्पाद के आंकड़ों से भी फेड को निर्णय लेने में सहुलियत हुई। मंत्रालय के अनुसार 31 मार्च को समाप्त हुए वर्ष 2008 की प्रथम तिमाही के दौरान अमेरिकी अर्थव्यवस्था में वार्षिक विकास दर 0.6 फीसदी रही। वहीं दूसरी तिमाही के दौरान भी वार्षिक विकास दर में 0.6 फीसदी विकास का अनुमान लगाया गया है जबकि स्वतंत्र विशेषज्ञ 0.2 फीसदी का अनुमान लगा रहे हैं।

उधर फेड के निर्णय के आते ही अमेरिकी शेयर बाजारों में भारी बढ़त देखने को मिली। डाऊ जोंस उछलकर चार महीनों के उच्चतम स्तर पर चला गया लेकिन फेड से जारी बयान में स्पष्ट संकेत के अभाव में शेयर बाजार अंतत: गिरकर बंद हुए।

निवेशकों को फिलहाल अमेरिका से आज जारी होने वाले व्यक्तिगत आय, उपभोक्ता खर्च व बेरोजगारी के आंकड़ों का इंतजार है। साथ ही निवेशकों की निगाहें अमेरिका से सप्ताहांत जारी होने वाले गैर कृषि कामगार आंकड़ों पर भी होगी।

फेड द्वारा ब्याज दरों में कटौती की घोषणा से सर्राफा बाजार भी अप्रभावित नहीं रहे। कटौती के ठीक बाद न्यूयार्क मर्के टाइल एक्सचेंज के कामेक्स डिवीजन के इलेक्ट्रानिक ट्रेडिंग में बुधवार को सोना बेंचमार्क जून वायदा 14.90 डालर चढ़कर 880 डालर प्रति औंस तक चला गया। फेड की बैठक से ठीक पहले समान अवधि का वायदा पिट कारोबार में 11.70 डालर टूटकर 865.10 डालर प्रति औंस बंद हुआ था।

फेड के बयान के बाद डालर बास्केट की अन्य मुद्राओं की तुलना में कमजोर हुआ लेकिन बैंक आफ इंग्लैंड से जारी बयान कि वैश्विक अर्थव्यवस्था पर से संकट के बादल छंट चुके हैं, के मद्देनजर डालर फिलहाल मजबूत चल रहा है।

इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।

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