करात पुन: माकपा महासचिव निर्वाचित
माकपा ने अपने दो वरिष्ठ नेताओं पश्चिम बंगाल के पूर्व मुख्यमंत्री ज्योति बसु और पार्टी के पूर्व राष्ट्रीय महासचिव हरकिशन सिंह सुरजीत को अपनी सर्वोच्च नीतिगत संस्था यानी पार्टी की पोलित ब्यूरो से बाहर कर दिया है।
नवगठित पोलित ब्यूरो में तीन नये चेहरों को शामिल किया गया है। केरल के गृहमंत्री कोडियारी बालाकृष्णन, सेंटर फॉर इंडियन ट्रेड यूनियंस (सीटू) के महासचिव मोहम्मद अमीन और पश्चिम बंगाल के उद्योग मंत्री निरूपम सेन पोलित ब्यूरो के नये सदस्य होंगे।
इनके अलावा केरल के मुख्यमंत्री वी. एस. अच्युतानंद, पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्री बुद्धदेव भट्टाचार्य, त्रिपुरा के मुख्यमंत्री माणिक सरकार, सीताराम येचुरी, सीटू के अध्यक्ष एम. के. पंघे, पिनयारी विजयन, एस. रामचन्द्रन पिल्लई, बिमान बोस, के. वरदराजन, बी. वी. राघावुलु और वृंदा करात को पोलित ब्यूरो का सदस्य बनाया गया है।
माकपा की 86 सदस्यीय केंद्रीय समिति में भी 16 नये चेहरों को स्थान मिला है।
उल्लेखनीय है कि 1964 में माकपा की जब स्थापना हुई थे तो उसमें पोलित ब्यूरो के नौ सदस्य थे। इन नौ सदस्यों में बसु और सुरजीत भी शामिल थे। अन्य सात पोलित ब्यूरो के सदस्यों का निधन हो चुका है।
बसु और सुरजीत लंबे समय से अस्वस्थ्य चल रहे हैं। सुरजीत ने तो पोलित ब्यूरो की बैठकों तक में जाना छोड़ दिया है। जबकि बसु ने कई दफा खुद को पोलित ब्यूरो से मुक्त करने की इच्छा जाहिर की थी। उनकी इस इच्छा को अंतत: पार्टी कांग्रेस में स्वीकार कर लिया गया।