(होली विशेष) बरसाने की होली देखने उमड़ रहे सैलानी
आगरा, 19 मार्च (आईएएनएस)। विश्वविख्यात बृज की होली और खासकर बरसाना की लट्ठ मार होली को देखने के लिए इन दिनों देश भर से सैलानियों की भीड़ उमड़ रही है। पिछले कई दिनों से बृज क्षेत्र में राधा और कृष्ण भक्त अपनी सुध-बुध भुलाकर होली के रंगों में रंगे हैं।
आगरा, 19 मार्च (आईएएनएस)। विश्वविख्यात बृज की होली और खासकर बरसाना की लट्ठ मार होली को देखने के लिए इन दिनों देश भर से सैलानियों की भीड़ उमड़ रही है। पिछले कई दिनों से बृज क्षेत्र में राधा और कृष्ण भक्त अपनी सुध-बुध भुलाकर होली के रंगों में रंगे हैं।
देश के दूर-दराज से आने वाले सैलानियों में से एक मुंबई के रत्नाकर का कहना है, "मैंने और मेरे परिवार ने बीते शुक्रवार जैसा नजारा पहले कभी नहीं देखा जब बरसाना और नंद गांव के पुरुष और महिलाएं आपस में लड़ते और नाचते हुए होली खेल रहे थे और इस दौरान पूरे समय बृज भाषा में होली के गीत गूंजते रहे।"
बरसाना के श्री जी मंदिर के खुले मैदान में लट्ठ मार होली को देखने प्रतिवर्ष हजारों लोग जमा होते हैं। इस दौरान महिलाएं पुरुषों पर लट्ठ बरसाती हैं और चारों ओर खड़े लोग श्री राधे और श्री कृष्ण की धुनों के साथ गीत गाते हैं।
बरसाना की हुरियारिने (महिलाएं) प्रति वर्ष होली से एक माह पूर्व ही होली की तैयारियां शुरू कर देती हैं। बरसाना के एक गोस्वामी के अनुसार, "इस अवसर पर सास अपनी बहुओं को खूब पौष्टिक आहार देती हैं जिससे वह होली की रंगभूमि में अपनी शक्ति का प्रदर्शन कर सकें।"
बदलते समय के साथ वृंदावन, मथुरा और गोवर्धन आदि क्षेत्रों में होली का गीत-संगीत अब सीडी और डीवीडी में भी उपलब्ध है। मथुरा स्थित श्री कृष्ण जन्मभूमि के निकट के एक दुकानदार का कहना है, "करीब सभी पर्यटक यहां डीवीडी अथवा कैसेट लेने आते हैं। बृज रसिया और संकीर्तनों की मांग जोरों पर है।" इसके अतिरिक्त बॉलीवुड के होली संबंधी गीतों की भी यहां भारी मांग दिखती है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।
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