अपनी समाधि बदल सकते हैं लेनिन

पूर्व राष्ट्रपति बोरिस येल्तसिन ने लेनिन के पार्थिव शरीर को दोबारा दफनाने की पहल की थी लेकिन कम्युनिस्टों के विरोध की आशंका में वह ऐसा नहीं कर सके. राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन इस मुद्दे पर काफी सावधानी बरतते रहे है. आठ वर्ष के अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने सेना के लिये लाल स्टार सहित सोवियत संघ के कई चिन्हों को दोबारा बहाल किया है.
समाचार पत्र झिंज ने कब्रगाह के आर्ट निदेशक और वास्तुशिल्पी सेरगई गोरयेव के हवाले से खबर दी है कि लेनिन के पार्थिव शरीर को मास्को के उत्तर में बन रहे स्मृति परिसर में दोबारा दफनाने के मुद्दे पर अधिकारी स्तर पर चर्चा हुयी है. उन्होंने बताया कि अंतिम निर्णय अभी लिया जाना शेष है. उन्होंने कहा कि स्मृति परिसर में रूस और सोवियत संघ के कई ऐतिहासिक हस्तियों को इसमें दोबार दफनाया जा सकता है.
इस कब्रगाह के वर्ष 2010 तक बनकर तैयार होने की संभावना है. यह 53 हेक्टेयर भूमि पर बन रहा है जहां 30 हजार से अधिक कब्र बनाये जा सकते हैं. श्री पुतिन ने इसके बनाने का मार्ग 2001 में प्रशस्त किया था.
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