गांवों में उदयमशीलता का विकास जरी ..प्रणव
नई दिल्ली09 अक्टूबर.वार्ता. विदेशमंत्री प्रणव मुखर्जी ने गांवों और शहरों के बीच खाई को दूर करने पर जोर देते हुये आज कहा कि गांवों में उद्यमशीलता का विकास एक राष्ट्रीय प्राथमिकता होना चाहिये
श्री मुखर्जी ने भारतीय उदयोग एवं वाणिज्य महासंघ.फिक्की की आेर से आयोजित दो दिवसीय भारतीय कारोबार सम्मेलन में समापन भाषण करते हुये कहा कि भारत की महानता का श्रेय गांवों और शहरों दोनों को है 1 उन्होेने कहा कि गांवों में उदयमशीलता का विकास एक चुनौती हैंं लेकिन इसे साकार करके ही गांवों का कायाकल्प किया जा सकता है
रोजगार की तलाश में गांवों से शहरों की आेर होने वाले पलायन की चर्चा करते हुये श्री मुखर्जी नेे कहा कि एक अनुमान के अनुसार वर्ष 2020 तक 14 करोड ग्रामीण शहरों को आकर जीविकोपार्जन करने लगेंगें 1उन्होेने कहा कि इस रुान को रोकने के लिये जरी है कि गांवों में उदयोग धंधों का विकास और रोजगार सृजन किया जाये
उन्होंेने कहा कि गांवों में आर्थिक निवेश होने से लोगों का जीवनस्तर ऊंचा होगा तथा निचले स्तर तक लोकतांति्रक संस्थायें मजबूत होगीं1 उन्होेने कहा कि गांवों को देश की विकास प्रक्रिया से समुचित प से जोडे जाने की जरत है
देश के गांवों को सुदूरवर्ती अंचलों में कला कौशल की चर्चा करते हुये श्री मुखर्जी ने कहा कि उनके उत्पादोंं को देश और विदेश के बाजार में पहुंचाने के उपाय होने चाहिये साथ ही ग्रामीण कारीगरों को गुणवत्ता तकनीकी से परिचित कराया जाना चाहिये 1 फिक्की के अध्यक्ष हबील खोरकीवाला ने सम्मेलन को बहुत उपयोगी बताते हुये ग्रामीण उत्पाद प्रोत्साहन फाउंडेशन स्थापित करने की घोषणा की जिसके माध्यम से ग्रामीण उत्पादों को बेहतर बाजार पहुंच उपलब्ध कराने के उपाय किये जायेगें साथ ही सूचना प्रौदयागिकी का उपयोग कर सूचना प्रणाली स्थापित की जायेगी जो ग्रामीणोंं तक आवश्यक सूचनायेंं प्रेषति करने तथा विभिन्न समूहों को जोडने में सहायक होगी
उन्होेने कहा कि देश में तेजी से हो रही आर्थिक विकास के बाजवूद असमानता और गांवों एवं शहरों के बीच खाई बढ रही है जिसे समाज और सरकार के सहयोग से पाटा जा सकता है
सुफल पुनीत लखमी1646वार्ता