छोड़ गई पत्नी तो शख्स ने ससुराल में पोस्टर लगवाकर कर दिया बदनाम, गांव वालों से कहा दिलाओ मेरी बीवी
थक-हारकर जावेद ने खतौली वासियों से पोस्टर के जरिए अपील की है की मुझे मेरी सास अपने बीवी-बच्चे से न तो मिलने देती है और न ही मेरे साथ मेरठ भेजती है। लेकिन जावेद ने किया क्या ये बता रहे हैं उसके ससुर।
मुजफ्फरनगर। मेरठ में एक अजीब घटना देखने को मिली। आप लोगों ने चुनाव प्रचार, स्कूलों, सर्कस और अनेक प्रकार के पोस्टर दीवारों पर चिपकते हुए देखे होंगे लेकिन खातौली में पहली बार एक पोस्टर के जरिए पीड़ित पति ने अपने बीवी-बच्चे दिलाने की अपील की है। मामला खातौली के ढाकन चोक का है जहां मोहल्ले के लोगों ने देखा की एक लड़का दीवारों पर पोस्टर चिपका रहा है। पोस्टर में मेरठ का रहने वाला युवक जावेद अपनी पीड़ा ब्यान करते हुए दिख रहा है।
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दरअसल मेरठ निवासी जावेद का विवाह तीन साल पहले महबूब उर्फ़ आबिदा से हुआ था। जिससे उसको एक लड़की भी है। शादी के कुछ महीनों के बाद ही आबिदा अपने घर पर रहने के लिए आ गई थी। उसके बाद कुछ मनमुटाव होने के चलते आबिदा अपनी ससुराल मेरठ जाने के लिए तैयार नहीं हुई। कई बार जावेद ने आबिदा और छोटी बच्ची को अपने घर मेरठ ले जाने की भरपूर कोशिश की मगर बात नहीं बनी।
अब थक-हारकर जावेद ने खतौली वासियों से पोस्टर के जरिए अपील की है की मुझे मेरी सास अपने बीवी-बच्चे से न तो मिलने देती है और न ही मेरे साथ मेरठ भेजती है। खतौली वासियों आप सब मेरे उजड़ते हुए घर को बचाकर मेरे बीवी-बच्चे को मेरे साथ मेरठ भेजने में मेरी मदद करें। अन्त में जावेद ने बीवी और बच्चे न मिलने पर आत्मदाह करने की धमकी भी दी है। पहली बार ऐसा मामला देखने को मिला है जब कोई व्यक्ति अपनी पत्नी और बच्चों की चाह में पुलिस या सरकार से नहीं बल्कि क्षेत्र और समाज के लोगों से मदद की गुहार लगा रहा है वो भी अपनी ससुराल में पोस्टर लगाकर।
वहीं अपने दामाद की इस हरकत के बाद आबिदा के पिता महबूब उर्फ़ भूरा अपने बेटी को लेकर स्थानीय पुलिस में दामाद के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने पहुंच गए। महबूब की माने तो उसकी बेटी आबिदा की शादी तीन वर्ष पहले मेरठ के जावेद के साथ हुई थी। शादी के एक वर्ष बाद बेटी आबिदा ने एक बेटी को जन्म दिया। जिसके बाद जावेद आबिदा के साथ अभद्र व्यवहार करने लगा। अपने दोस्तों को घर बुलाकर आबिदा से कहता था की इनके साथ बात करो जैसा ये बोलते है वैसा करो विरोध करने पर मार पिटाई करता। जिससे तंग आकर आबिदा अपने घर आ गई आबिदा दो साल से मेरे पास रहकर सिलाई-कढ़ाई कर अपना पेट पाल रही है। मेरे पांच लड़कियां हैं दो की शादी कर दी, तीन अभी कुंवारी हैं। मैं गरीब आदमी हूं। जावेद ने बाजार में पोस्टर लगाकर हमारी समाज में बेज्जती कर डाली जिससे एक बेटी तय किया रिश्ता लगता है इस पोस्टर की वजह से टूट जाएगा।
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