गोरखपुर हादसे में डीएम ने सौंपी जांच रिपोर्ट, हुए चौंकाने वाले खुलासे
गोरखपुर: जिलाधिकारी ने सौंपी रिपोर्ट, लापरवाही बच्चों की मौत की वजह
गोरखपुर। गोरखपुर के बीआरडी मेडिकल कॉलेज में बीते गुरुवार-शक्रवार की दरमियानी रात को 33 बच्चों की मौत के मामले में उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से कराई गई जांच में समन्वय का अभाव और लापरवाही को मासूमों की मौत की वजह बताया गया है। गोरखपुर के जिलाधिकारी ने इस मामले की जांच कर अपनी रिपोर्ट दी है।
डॉक्टरों की समझदारी से बच सकती थी बच्चों की जान
जांच में कहा गया है कि अगर डॉक्टरों ने समझदारी दिखाई होती तो बच्चों की जान बच सकती थी, इसके साथ-साथ डॉक्टरों के बीच आपसी समन्वय की कमी की बात भी रिपोर्ट में है। जांच में सामने आया है कि बीआरडी मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ राजीव कुमार और दूसरे सीनियर अस्पताल में नहीं थे। साथ ही जांच में पाया गया है कि अस्पताल में ऑक्सीजन की होने की बात सामने आने के बावजूद इस तरफ ध्यान नहीं दिया गया जो डॉक्टरों और अलग-अलग विभागों के बीच समन्वय की कमी साफ दिखाता है।
Recommended Video
दो डॉक्टरों पर हुई कार्रवाई
उत्तर प्रदेश सरकार ने इस मामले में इस रिपोर्ट से पहले ही बीआरडी कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ राजीव कुमार और दूसरे डॉ कफील को पद से हटा दिया है। हालांकि डॉ राजीव कुमार ने अपने सस्पेंशन की खबर पर कहा था कि वो पहले ही इस्तीफा दे चुके थे।
ऑक्सीजन की कमी से मौत की बात यूपी सरकार ने नकारी
आपको बता दें कि गोरखपुर के बीआरडी मेडिकल कॉलेज में बीते गुरुवार की रात और शुक्रवार को 33 बच्चों की मौत हो गई थी। जिसकी वजह अस्पताल में ऑक्सीजन की सप्लाई ना होना बताया जा रहा है। हालांकि उत्तर प्रदेश सरकार इससे इंकार कर रही है। यूपी के स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह ने कहा है कि ऑक्सीजन की कमी से नहीं बल्कि बीमारी से बच्चे मरे हैं। वहीं सीएम योगी आदित्यनाथ ने भी इसकी वजह इंसेफलाइटिस बताई है। बीआरडी कॉलेज में बीते एक हफ्ते में 70 से ज्यादा मौतें हो चुकी हैं।