अपने 'गॉडफादर' पाक सेना के नेतृत्व मे आगे बढ़ रहा तालिबान
वाशिंगटन। पाकिस्तान को शायद यह सच चुभ सकता है लेकिन वाशिंगटन पोस्ट ने जनरल राहील शरीफ के नेतृत्व वाली पाकिस्तान सेना को अफगानिस्तान में मौजूद आतंकी संगठन तालिबान का गॉडफादर बताया है।
अमेरिका एक लीडिंग न्यूजपेपर ने अपने एडीटोरियल में अमेरिका को चेतावनी भी दी गई है। यह एडीटोरियल मशहूर एनआरआई जर्नलिस्ट फरीद जकारिया ने लिखा है। फरीद को विदेश नीति का विशेषज्ञ माना जाता है।
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फरीद ने अपने एडीटोरियल में चेतावनी भरे अंदाज में लिखा है कि जब तक पाक सेना अपने नजरिए में सुधार नहीं लाएगी तब तक अफगानिस्तान से सेना हटा चुके अमेरिका को रणनीतिक असफलता का सामना करना पड़ेगा।
जकारिया ने लिखा पाकिस्तानी सेना को तालिबान का गॉडफादर बताया जाता है। उन्होंने लिखा है कि पाक 80 के दशक में सोवियत संघ से युद्ध के दौरान अमेरिका समर्थित मुजाहिद्दीन का गढ़ रहा है।
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वर्ष 1989 में जब सोवियत संघ पीछे हट गया तो अमेरिका ने तेजी से कदम वापस खींच लिए और पाकिस्तान उस रणनीतिक शून्य में दाखिल हो गया। जकारिया ने आगे लिखते हुए कहा कि पाकिस्तानी मदरसों में चरमपंथी इस्लाम की तालीम लेने वाले युवा पख्तून जिहादियों के समूह तालिबान तालिब यानी छात्र को आगे कर दिया। अब इतिहास खुद को दोहरा रहा है।
अब जबकि अमेरिका अपने बल वापस ले रहा है तो पाकिस्तान एक बार फिर से अपनी पुरानी इच्छा के तहत अपना प्रभाव बढ़ाने की कोशिश कर रहा है। पाकिस्तानी सेना फिर से तालिबान का गॉडफादर बनने के रास्ते पर चल रही है।