भारत के दोस्त रूस पर हैं पाक की नजरें, अमेरिका को माना कमजोर ताकत
वाशिंगटन। कश्मीर पर पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने जो खास प्रतिनिधि नियुक्त किया है, उनका मानना है कि अब पाकिस्तान को चीन के अलावा भारत के दोस्त रूस के साथ भी करीबी बढ़ानी होगी। इस प्रतिनिधि की मानें तो अब अमेरिका एक कमजोर ताकत में तब्दील होता जा रहा है।
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अमेरिका अब नहीं महाशक्ति
मुशाहिद हसन सैयद को नवाज ने कश्मीर के लिए खास प्रतिनिधि नियुक्त किया है। सैयद, अटलांटिक काउंसिल जो कि अमेरिका का एक अग्रणी थिंक टैंक हैं, वहां पर बोल रहे थे।
सैयद ने कहा कि अगर कश्मीर और भारत पर पाकिस्तान के नजरिए को नहीं माना जाता है तो फिर पाक को चीन और रूस के करीब होना चाहिए। सैयद की मानें तो अब अमेरिका दुनिया की महाशक्ति नहीं रहा है।
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अमेरिका में भारत पर आरोप लगाने की जिम्मेदारी
सैयद के अलावा शाहजरा मनसाब भी कश्मीर के खास प्रतिनिधि हैं। दोनों ही अमेरिका में हैं और वह पाक की उन कोशिशों को आगे बढ़ा रहे हैं जिसके तहत पाक दुनिया को कश्मीर के वर्तमान हालातों के बारे में बताने को बेकरार है। पाक लगातार भारत पर मानवाधिकार उल्लंघन का आरोप लगाता आया है।
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अमेरिका को चेतावनी
सैयद ने दरअसल अमेरिका को चेतावनी देने के अंदाज में कहा कि अगर अमेरिका कश्मीर पर उसके नजरिए को नहीं मानेगा तो फिर वह रूस के साथ हो जाएगा।
सैयद ने यह बात उस समय कही जब वह कश्मीर और भारत से जुड़े एक सवाल का जवाब दे रहे थे। 90 मिनट की चर्चा के दौरान उन्होंने चीन और रूस पर काफी बातें कहीं।
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चीन 'महान' साउथ एशिया का 'अहम' हिस्सा
सैयद ने कश्मीर में हो रहे मानवाधिकारों के उल्लंघन पर एक डॉजियर भी यहां पर सौंपा। यह डॉजियर उन्होंने अफगानिस्तान और पाकिस्तान के अमेरिका के खास प्रतिनिधि रिचर्ड ओल्सन को सौंपा।
सैयद की मानें तो साउथ एशिया में चीन अब एक अहम कारक है और उन्होंने चीन को महान साउथ एशिया को एक अहम हिस्सा करार दिया।