आज से शुरू हो रही है सिंधु नदी पर बने स्थायी आयोग की मीटिंग
इस्लामाबाद में आज से शुरू हो रही है सिंधु नदी पर बने आयोग की मीटिंग। दो दिनों तक चलने वाल मीटिंग में भारत के अधिकारी भी कर रह हैं शिरकत। पठानकोट आतंकी हमले के बाद बनाया टल गई थी कमीशन की मीटिंग।
इस्लामाबाद। पाकिस्तान के लाहौर में आज से सिंधु नदी पर बनाए गए स्थायी आयोग की मीटिंग शुरू हो रही है। इस मीटिंग में इस नदी के भविष्य पर फैसला लिया जाएगा। मीटिंग में शिरकत करने के लिए भारत के अधिकारी रविवार को लाहौर पहुंच चुके हैं।
10 दलों वाला प्रतिनिधिमंडल लाहौर में
भारत की ओर से 10 सदस्यों वाले एक प्रतिनिधिमंडल को लाहौर भेजा गया है। भारत की ओर से पीके सक्सेना को कमीशन का कमिश्नर बनाया गया है। उनकी अगुवाई में जो 10 लोग लाहौर पहुंचे हैं उनमें विदेश मंत्रालय के अधिकारियों समेत कुछ टेक्निकल अधिकारी भी शामिल हैं। पाक की ओर से मिर्जा आसिफ इस मीटिंग की अगुवाई करेंगे। सूत्रों की ओर से कहा गया है कि पाक की ओर से भारत के उन तीन हाइड्रो प्रोजेक्ट्स पर चिंता जताई गई है जिन्हें पाक की तरफ बहने वाले सिंधु नदी पर बनाया गया है। जिन तीन हाइड्रो प्रोजेक्ट्स पर पाक ने चिंता जताई है उनमें चेनाब नदी पर बना 1000 मेगावॉट वाला पाकुल डल, 120 मेगावॉट वाला मियार प्रोजेक्ट जो कि मियार नाला की तरफ स्थित है और यह नाला चेनाब नदी में पानी का बड़ा स्त्रोत है। इसके अलावा 43 मेगावॉट वाला लोअर कालानी हाइड्रो प्रोजेक्ट शामिल है। यह प्रोजेक्ट कालानी नाला पर बना है और यह नाला भी चेनाब नदी का अहम हिस्सा है।
कमीशन की 113वीं मीटिंग
सोमवार को जो मीटिंग होनी है वह इस कमीशन की 113वीं मीटिंग है। आखिरी मीटिंग वर्ष 2015 में हुई थी। जनवरी 2016 में पठानकोट आतंकी हमले के बाद से दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ गया था और इसकी वजह से मीटिंग टल गई थी। पाकिस्तान की ओर से साफ कर दिया गया है कि वह संधि में किसी भी तरह के बदलाव को नहीं मानेगा। भारत ने कहा था कि वह पाक के साथ सिंधु नदी संधि मसले पर पाकिस्तान के साथ बातचीत को तैयार है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पाक को धमकी दी थी कि वह पाक की ओर से बहने वाले पानी को रोक देंगे। इसके बाद दोनों देशों में तनाव बढ़ गया था। विश्व बैंक की ओर से पहले ही कहा जा चुका है कि दोनों देश अपने मतभेदों को खुद सुलझाएं।