दिल्ली : जामा मस्जिद के शाही इमाम पर हमला
नई
दिल्ली|
जामा
मस्जिद
के
शाही
इमाम
सैयद
अहमद
बुखारी
पर
रविवार
की
शाम
नमाज
के
समय
32
वर्षीय
एक
युवक
ने
हमला
कर
दिया
और
उन्हें
जलाने
की
कोशिश
की।
हमलावर
को
गिरफ्तार
कर
लिया
गया
है।
हमलावर
को
मानसिक
तौर
पर
कमजोर
बताया
जा
रहा
है।
शाही
इमाम
के
छोटे
भाई
तारिक
बुखारी
ने
आईएएनएस
को
बताया
कि
एक
युवक
जामा
मस्जिद
में
नमाज
अता
करने
के
दौरान
धीरे-धीरे
शाही
इमाम
के
पास
पहुंच
गया
और
उन
पर
मिट्टी
का
तेल
छिड़ककर
आग
लगाने
की
कोशिश
की।
हमलावर युवक हालांकि अपने प्रयास में नाकामयाब रहा। तारिक बुखारी ने कहा, "शाही इमाम के शरीर पर कोई चोट नहीं आई है। इमाम के सुरक्षाकर्मियों और वहीं नमाज पढ़ रहे अन्य लोगों ने बाद में हमलावर को पकड़ लिया। हमलावर को पुलिस के हवाले कर दिया गया है।"
हमलावर की पहचान कमालुद्दीन उर्फ कमल के रूप में हुई है। वह पश्चिम बंगाल के उत्तरी 24 परगना जिले का रहने वाला है। कमल को पुलिस हिरासत में ले लिया गया है, लेकिन अधिकारी अभी तय नहीं कर पाए हैं कि उसके खिलाफ क्या मामला दर्ज किया जाए।
संयुक्त पुलिस आयुक्त संदीप गोयल ने आईएएनएस से कहा, "कमालुद्दीन की मानसिक स्थिति अस्थिर बताई जा रही है। उसने शाही इमाम पर मिट्टी का तेल छिड़क दिया और जेब से लाइटर निकालकर आग लगाने की कोशिश की।"
उन्होंने बताया, "शाही इमाम यदि उसके खिलाफ मामला दर्ज करवाते हैं तो उस पर हत्या के प्रयास का मामला दर्ज किया जाएगा।" पुलिस ने बताया कि घटना के समय जामा मस्जिद में भगदड़ जैसी स्थिति बन गई, क्योंकि उस वक्त वहां सैकड़ों की संख्या में लोग नमाज पढ़ रहे थे।
शाही इमाम को निशाना बनाए जाने के सवाल पर गोयल ने कहा, "हमलावर मानसिक रूप से अस्वस्थ है, उसे पागल नहीं कहा जा सकता।" अतिरिक्त पुलिस आयुक्त आलोक कुमार ने आईएएनएस से कहा, "उसने पुलिस को बताया कि वह रेलगाड़ी से सफर तय कर शनिवार की सुबह ही दिल्ली पहुंचा था। वह इमाम से मिलना चाहता था। लेकिन कई बार कोशिश करने के बावजूद जब वह इमाम से नहीं मिल सका तो उसने उन पर हमला कर दिया।"
उन्होंने आगे बताया, "हम पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं कि वह इमाम से क्यों मिलना चाहता था? उसका मकसद क्या था? हमले के समय कमालुद्दीन अकेला ही था।" शाही इमाम बुखारी पर पिछले साल भी मानसिक तौर पर अस्वस्थ एक व्यक्ति ने हमला किया था और उसे गिरफ्तार कर लिया गया था।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस