कुख्यात डकैत ददुआ बना भगवान, मंदिर में लगेगी मूर्ति, होगा पूजा-पाठ
कानपुर। बात अगर चंबल की घाटियों से लेकर गंगा के कटरी इलाकों तक की करें तो एक वक्त में मांए अपने बच्चों से कहती थी सो जा वरना 'ददुआ' आ जाएगा। आतंक और खौफ का दूसरा नाम बन चुका खूंखार डकैत ददुआ अब भगवान बनने वाला है। जी हां यूपी के फतेहपुर जिले के धाता ब्लॉक के कबरहा गांव में ददुआ की मंदिर बनायी जा रही है। चार फरवरी को यहां के हनुमान मंदिर में वैदिक मंत्रोच्चारण के बीच ददुआ की मूर्ति स्थापित की जाएगी।
मासिक धर्म के कारण महिलाएं क्यों नहीं जा सकतीं मंदिर?
आपको बताते चलें कि जिस हनुमान मंदिर में ददुआ की मूर्ति रखी जाएगी उस मंदिर की नींव 2000 में ददुआ ने ही रखी थी। 14 फरवरी वर्ष 2006 में मंदिर में राम-जानकी व भगवान शंकर और हनुमान जी की मूर्तियों की स्थापना धूमधाम से कराई थी। उस समय चप्पे-चप्पे पर फोर्स लगी होने के बाद भी ददुआ भेष बदल कर आया और मंदिर में पूजा कर चला गया था।
रॉबिन हुड की छवि थी ददुआ की
तीन दशक तक बीहड़ की बादशाहत करने वाले ददुआ के बारे में कहा जाता था कि उसने कभी गरीबों को परेशान नहीं किया और बाकायदा वो लूट को माल गरीबों में मदद के लिए बांट दिया करता था। उस इलाके में उस समय बहुत गरीबी थी और लोग भुखमरी के शिकार थे। ऐसे में ददुआ उनके बीच नायक बनकर उभरा इसी के दम उसने पूरे इलाके में दशकों तक राज किया।
मायावती के शासन में मुठभेड़ में मार दिया गया था ददुआ
2007 में उत्तर प्रदेश में बीएसपी सुप्रीमो मायावती की सरकार थी। अब तक ददुआ के खिलाफ 150 मामले दर्ज हो चुके थे और उसके ऊपर साढ़े पांच लाख इनाम था। पुलिस ने उसे जुलाई 2007 में भयंकर मुठभेड़ मार गिराया। उस समय के तत्कालीन डीजीपी विक्रम सिंह ने सूचना दी थी कि दो बार हुई मुठभेड़ के बाद घटनास्थल से 10 लाशें बरामद हुईं जिसमें एक शिवकुमार पटेल उर्फ दुदुआ का भी शव था। ये मुठभेड़ चित्रकूट में मानिकपुर के कैलहा इलाके में थी।