स्नैपचैट के सीईओ ने कहा भारत एक गरीब देश , उनकी एप सिर्फ अमीरों के लिए
स्नैपचैट सीईओ इवान स्पीगल ने कहा उनकी एप सिर्फ अमीर लोगों के लिए है। भारत और स्पेन जैसे गरीब देशों में एप के विस्तार के लिए उनके पास कोई योजना नहीं है।
न्यूयॉर्क। एक तरफ भारत सोशल मीडिया प्रयोग में दुनिया को बाकी देशों को टक्कर दे रहा है। जहां पर मार्क जुकरबर्ग जैसे सोशल मीडिया के दिग्गज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलने आते हो और जिस देश को फेसबुक जैसी कंपनी एक अहम मार्केट बताती हो, उसे अगर किसी एप का सीईओ 'गरीब' देश बोले तो हैरानी होती है। स्नैपचैट के सीईओ का मानना है कि उनकी एप सिर्फ अमीरों के लिए है और भारत एप के लिए एक गरीब देश है।
मीटिंग में स्पीगल की टिप्पणी
वैराइटी मैगजीन की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि एप के वर्ष 2015 में यूजर बेस की चर्चा पर हो रही एक मीटिंग में स्नैचपैट के सीईओ इवान स्पीगल ने यह टिप्पणी की। उनका माना है कि भारत और स्पेन गरीब देश हैं और ऐसे में यहां पर एप के विस्तार को लेकर फिलहाल उनका कोई इरादा नहीं है। मीटिंग में कंपनी के एक कर्मी ने भारत में इंटरनेट की पहुंच बढ़ने पर भी ऐप की कम ग्रोथ को लेकर सवाल किया था। इस पर स्पीगल ने उनका सवाल पूरा सुने बिना ही कहा, 'यह ऐप केवल अमीर लोगों के लिए है।' वैराइटी ने अपनी रिपोर्ट में उस कर्मी की चिंता का जिक्र करते हुए यह बातें कही है। स्पीगल ने कहा कि वह भारत और स्पेन जैसे गरीब देशों में एक्सपैंड नहीं करना चाहते।
स्नैपचैट के 40 लाख यूजर्स
फिलहाल स्पीगल की इस टिप्पणी पर आपत्ति जताते हुए स्नैपचैट कर्मी एंथनी पॉन्पिलानो स्नैपचैट के खिलाफ एक दूसरे मामले में केस कर चुके हैं। एंथनी की मानें तो मीटिंग सीईओ स्पीगल इस मुद्दे पर बहस के बाद तुरंत बाद बाहर चले गए थे। कुछ रिपोर्ट्स की मानें तो स्नैपचैट के भारत में पिछले वर्ष 40 लाख के करीब यूजर्स थे। स्नैपचैट के यूजर्स का सटीक आंकड़ा तो नहीं है लेकिन अनुमानन यह पिछले साल के मुकाबले बढ़ा है।