जी-20 देशों की बैठक के दौरान ही उत्तर कोरिया ने जापान की ओर दागी तीन बैलिस्टिक मिसाइल
सियोल। एक तरफ दुनिया के ताकतवर देशों के नेता चीन में जी20 की बैठक कर रहे थे तो दूसरी तरफ दुनिया भर की नाक में दम करने वाला उत्तर कोरिया अपनी बैलिस्टिक मिसाइलों का परीक्षण कर रहा था। दक्षिण कोरिया की सेना के मुताबिक सोमवार को उत्तर कोरिया ने ईस्ट कोस्ट पर तीन बैलिस्टिक मिसाइल दागी हैं।
1000 किलोमीटर की मारक क्षमता वाली मिसाइलों को दागा गया
दक्षिण कोरिया की सेना के मुताबिक उत्तर कोरिया की राजधानी प्योनग्यांग के दक्षिणी क्षेत्र के 1000 किलोमीटर की मारक क्षमता वाली मिसाइलों को दागा गया। यह बैलिस्टिक मिसाइल जापान के एयर डिफेंस आइडेंटिफिकेशन जोन में जाकर गिरी।
उत्तर कोरिया ने जापान की तरफ छोड़ी मिसाइल, कई देश भड़के
उत्तर कोरिया की तरफ से जापान की ओर छोड़ी गई मिसाइलों पर टिप्प्णी करते हुए जापान के रक्षा मंत्रालय ने कहा कि यह हमारे लिए चिंता का विषय है। अभी हम इस बात का अध्ययन करन रहे हैं कि क्या यह मिसाइल टेस्ट हमारे देश के लिए खतरे का विषय है।
600-1000 किलोमीटर की मारक क्षमता वाली मिसाइलों का कर चुका परीक्षण
उत्तर कोरिया संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की तरफ से लगाए प्रतिबंधों के बावजूद लगातार मिसाइलों का परीक्षण दक्षिण कोरिया, जापान और अमेरिका को धमकाता रहा है। इस साल की शुरूआत से अभी तक उत्तर कोरिया हाइड्रोजन बम परीक्षण से लेकर 600 से 1000 किलोमीटर तक की मारक क्षमता वाली मिसाइलों के परीक्षण कर चुका है।
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उत्तर कोरियाा ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की तरफ से लगाए गए प्रतिबंधों को मानने से मना कर दिया था और कहा था कि वह यह मिसाइल परीक्षण खुद की सुरक्षा के लिए कर रहा है।
जापान सरकार की तरफ से जारी एक बयान में बताया गया कि इस मिसाइल परीक्षण के तुरंत बाद ही जी20 देशों की बैठक में मौजूद दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति पर्क ग्यून हे और जापान के प्रधानमंत्री शिंजो अबे ने अलग से एक बैठक की। साथ ही इस स्थिति से निपटने के लिए एक दूसरे को सहयोग करने की बात भी कही है।
उत्तर कोरिया ने पहले भी की थी ऐसी हरकत
उत्तर कोरिया इससे पहले भी ऐसा ही कर चुका है। जी20 देशों की बैठक के दौरान यह मिसाइल लांच करके उसने वर्ष 2014 की यादों को ताजा कर दिया। वर्ष 2014 में जब अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा, पर्क और शिंजो अबे से हेग में उत्तर कोरिया के हथियारों के कार्यक्रम को लेकर बैठक कर रहे थे। तब भी उत्तर कोरिया ने दो मध्यम दूरी की मारक क्षमता वाली रोडोंग मिसाइल लांच की थीं।
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इस मिसाइल को उत्तर कोरिया के हवांगजू क्षेत्र से लांच किया गया था। यह ठीक उस समय हुआ जब हांगझू में जी20 देशों की बैठक के दौरान अलग से दक्षिण कोरिया और चीन के नेता बैठक कर रहे थे।
चीन ने दिलाया विश्वास शांति होगी कायम
इससे पहले योनहप न्यून एजेंसी ने बताया था कि दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति पर्क ने चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ बैठक में यह मुद्दा उठाया कि उत्तर कोरिया की तरफ से बैलिस्टिक मिसाइल और न्यूक्लियर परीक्षण से पूरे इस क्षेत्र में शांति पर खतरा उठा है। साथ ही दक्षिण कोरिया का चीन के साथ आगे संबंध बनाए रखना एक चुनौती सा होता जा रहा है।
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चीन की न्यूज एजेंसी शिन्हुआ ने मुताबिक बैठक के दौरान शी जिनपिंग ने दक्षिण कोरिया को विश्वास दिलाया है कि कोरिया क्षेत्र में शांति बहाल करने के लिए पर वह हरसंभव कोशिश करेगा।
थाड मिसाइल सिस्टम से किसी को खतरा नहीं
साथ ही चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने दक्षिण कोरिया के साथ खेद प्रकट करते हुए कहा कि दक्षिण कोरिया के बॉर्डर पर थाड एंटी मिसाइल सिस्टम को लगाए जाने का विरोध जताया। आपको बताते चलें कि उत्तर कोरिया की मिसाइलों का जवाब देने के लिए अमेरिका ने दक्षिण कोरिया के बॉर्डर पर यह मिसाइल सिस्टम स्थापित किया है।
वहीं दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति पर्क ने कहा कि थाड मिसाइल सिस्टम से किसी भी देश को कोई खतरा नहीं होगा। दक्षिण कोरिया ने खुद की सुरक्षा जरूरतों को महसूस करते हुए यह किया है।