कौन-कौन हैं महाराष्ट्र-हरियाणा में सीएम पद के दावेदार
नई दिल्ली (विवेक शुक्ला) भाजपा को हालांकि महाराष्ट्र में उम्मीद के मताबिक सफलता नहीं मिली है, पर मुख्यमंत्री तो उसका ही बनेगा। कम से कम अभी तो यही लगता है। वहीं, हरियाणा में उसे किसी की मदद की जरूरत नहीं होगी मुख्यमंत्री बनाने के लिए। वह अपने दम पर सरकार बना लेगी। पर जानाकारों का कहना है कि महाराष्ट्र में भी भाजपा को अपना मुख्यमंत्री बनाने के लिए तगड़ी मशक्कत करनी होगी। माना जा रहा है कि पार्टी शिव सेना के साथ मिलकर सरकार बना लगी। इसके मुख्यमंत्री होंगे देवेन्द्र फडनीस। 45 साल के फडनीस भाजपा के जुझारू नेता हैं। उनके अलावा भी कुछ नामों पर विचार हो सकता है।
मोदी के करीबी देवेंद्र
फडनीस नरेन्द्र मोदी से लेकर पार्टी अध्यक्ष अमित शाह के करीबी माने जाते हैं। उन्हें पार्टी में संगठन का आदमी माना जाता है। वे मृदुभाषी हैं। प्रखर वक्ता भी हैं। वे रोज 15 घंटे काम करते हैं। वे जाति से ब्राहमण हैं। हालांकि महाराष्ट्र की राजनीति में मराठाओं का दबदबा रहा है।
महत्वपूर्ण है कि विधानसभा चुनावों में टिकटों के बंटवारे में भी देवेन्द्र फडनीस ने अहम भूमिका अदा की थी। उन्होंने कोशिश की कि पार्टी ईमानदार और साफ-सुथरी छवि वाले नेताओं को ही टिकट दे।
हरियाणा में राव इंद्रजीत का नाम
उधर, तो कौन बनेगा हरियाणा में भाजपा की बनने वाली सरकार का मुख्यमंत्री ? हरियाणा विधानसभा के चुनाव के आ रहे नतीजों से साफ है कि हरियाणा में भाजपा की आंधी चली। पर, अब सवाल पूछा जा रहा है कि हरियाणा में भाजपा सरकार का कौन मुख्यमंत्री होगा।
जानकारों का कहना है कि भाजपा की तरफ से जो नेता चुनाव लड़े, उनमें किसी का इस तरह का कद नहीं है कि उसे मुख्यमंत्री ही बना दिया जाए। प्रदेश भाजपा प्रमुख रामबिलास शर्मा का कद भी कोई बहुत बड़ा नहीं है। वे ज्यादा से ज्यादा मंत्री बनने लायक ही हैं।
इन हालातों में माना जा रहा है कि भाजपा आला कमान गुड़गांव से सांसद और केन्द्र सरकार में राज्य मंत्री राव इंद्रजीत को मुख्यमंत्री पद सौंप सकती है। राव इंद्रजीत वास्तव में बड़े नेता हैं अहीरवाल क्षेत्र के। वे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के भी करीबी हैं। मोदी ने पिछले साल 22 सितंबर को राव इंद्रजीत के आग्रह पर रेवाड़ी में एक बड़ी रैली भी की थी। उसमें जिस तरह की भीड़ आई थी उससे मोदी बेहद खुश हुए थे। राव इंद्रजीत लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस को छोड़कर भाजपा में शामिल हुए थे। वे पहले भी गुड़गांव से सांसद थे।
जानकार मानते हैं कि भाजपा नेतृत्व हाल ही में कांग्रेस से भाजपा में आए चौधरी बीरेन्द्र सिंह को शायद उक्त पद के लिए नहीं उचित माने। वे कुल मिलाकर ड्राइंग रूम की राजनीति ही करते हैं। हालांकि कुछ जानकार मानते हैं कि कैप्टन अभिमन्यु भी हरियाणा का मुख्यमंत्री बनाया जा सकता है। वे बेहद प्रखऱ वक्ता हैं। पर उनका जनाधार कोई बहुत नहीं हैं। बहरहाल, अब बहुत देर नहीं जब महाराष्ट्र और हरियाणा को नए मुख्यमंत्री मिल जाएंगे।