EVM से छेड़छाड़ की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग को भेजा नोटिस
सुप्रीम कोर्ट ने ईवीएम से जुड़ी एक याचिका पर सुनवाई करते हुए आयोग को नोटिस भेज कर जवाब मांगा है। 5 राज्यों के चुनाव परिणाम आने पर विभिन्न दलों की ओर से ईवीएम की विश्वसनीयता पर सवाल किया गया था।
नई दिल्ली। पांच राज्यों का चुनाव संपन्न होने के बाद इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (EVM) की विश्वसनीयता पर खड़े हुए सवाल को लेकर देश की सर्वोच्च अदालत ने भारतीय चुनाव आयोग को नोटिस जारी किया है। अदालत ने ईवीएम के मसले पर आयोग से जवाब मांगा है।
कोर्ट ने यह नोटिस एक याचिका की सुनवाई करते हुए जारी किया। बता दें कि 11 मार्च को उत्तर प्रदेश, गोवा,मणिपुर, पंजाब और उत्तराखंड में चुनाव हारने वाले दलों ने ईवीएम से छेड़छाड़ का आरोप लगाया था। इसकी शुरुआत यूपी में बहुजन समाज पार्टी की सुप्रीमो और राज्यसभा सांसद मायावती ने की थी।
यूपी के परिणाम आने के बाद माया ने एक प्रेस वार्ता में कहा था ईवीएम से छेड़छाड़ की गई थी जिसके चलते भाजपा को पूर्ण बहुमत मिला। उन्होंने कहा था कि उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के परिणाम को देखकर साफ है कि यह मामला कितना गंभीर है, इसके बारे में और भी ज्यादा खामोश रहना लोकतंत्र के लिए बहुत घातक होगा।
माया ने बताया था लोकतंत्र की हत्या
भाजपा पर हमला बोलते हुए मायावती ने कहा था कि इन लोगों ने लोकतंत्र की हत्या की है, इन लोगों ने अपने पक्ष में गड़बड़ी की है। मैं भाजपा को खुली चेतावनी देती हूं अगर ये लोग इमानदार हैं तो पीएम मोदी और अमित शाह चुनाव आयोग को पत्र लिखें और पुरानी बैलट व्यवस्था से चुनाव कराने को कहें।
ऐसा ही आरोप समाजवादी पार्टी और कांग्रेस ने भी लगाया था। हालांकि भाजपा ने इन सभी आरोपों का नकार दिया था। दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने भी पंजाब चुनाव में ईवीएम से छेड़छाड़ के आरोप लगाए थे।
अरविंद केजरीवाल ने आशंका जताई थी कि ईवीएम के जरिए यह संभव है कि आम आदमी पार्टी का 20 से 25 प्रतिशत वोट शेयर शिरोमणि अकाली दल-भाजपा गठबंधन को ट्रांसफर कर दिया गया था। उन्होंने कहा था कि ईवीएम को लेकर जनता के मन में एक अविश्वास का माहौल है। यह चुनाव आयोग की जिम्मेदारी है कि वह लोगों के मन से इस अविश्वास को निकाले ताकि जनता का भरोसा चुनाव व्यवस्था पर बना रहे। केजरीवाल ने कहा था कि हम गोवा में अपनी हार को स्वीकार करते हैं लेकिन पंजाब को लेकर हमारे मन में कई सवाल हैं।
ममता ने कहा था
इसी मसले पर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा था कि निर्वाचन आयोग को इस मुद्दे पर एक सर्वदलीय बैठक बुलानी चाहिए। भारतीय जनता पार्टी नेता और राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी के एक वीडियो की ओर ध्यान दिलाते हुए कहा कि 'मैंने कुछ नहीं कहा। सुब्रमण्यम स्वामी कानूनी रूप से मजबूत हैं और उन्होंने जो कहा था, उसके बारे में ध्यान देते हुए जांच की जानी चाहिए।'
ममता ने कहा था कि वो इन विचारों को स्वीकार करते हैं या नहीं यह उनकी मर्जी है लेकिन इस मामले के लिए आयोग को सभी राजनीतिक दलों के साथ बैठक करनी चाहिए। मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया था कि उन्होंने इस बारे में आयोग के बयान सुन रखे हैं, जिसमें ऐसा कुछ ही नहीं होने की बात कही गई है। उन्होंने कहा कि मैंने सुब्रमण्यम स्वामी की ओर से जारी किया गया वीडियो क्लिप देखा है। वो कह रहे हैं कि इससे छेड़छाड़ हो सकती है। ममता ने माना कि उन्हें यह लगता है कि ईवीएम से छेड़छाड़ हो सकती है।
ये भी पढ़े: योगी सरकार में दफ्तर के पहले दिन किसी ने लगाया झाड़ू, किसी ने अफसर को लगाई डांट