बिहार-यूपी-झारखंड वाले बचते तलाक लेने से
नई दिल्ली(विवेक शुक्ला) लगता है कि बिहार, झारखंड, यूपी, राजस्थान, उत्तराखंड में पति-पत्नी मतभेदों के बावजूद साथ-साथ रहना चाहते हैं। वे तलाक लेने से बचते हैं। साल 2011 की जनगणना रिपोर्ट को माने तो देश में सबसे कम तलाक बिहार, झारखंड, यूपी, राजस्थान,उत्तराखंड में होते हैं।
सबसे ज्यादा तलाक
सबसे ज्यादा तलाक के मामले मिजोरम, गुजरात,नगालैंड मेघालय, सिक्किम और मणिपुर में। अब महिलाएं अगर अपने वैवाहिक जीवन में खुश नहीं हैं तो वे अपने पति से तलाक लेने से पीछे नहीं हटतीं।
केरल आगे
इस लिहाज से केरल की महिलाएं सबसे आगे हैं। यह ताजा आंकड़ें मिले हैं साल 2011 की जनगणना से। केरल के बाद नंबर आता है उड़ीसा,असम,त्रिपुरा और पश्चिम बंगाल का।
तलाक के कारण
हालांकि जनगणना में महिलाओं द्वारा तलाक लेने के कारणों का खुलासा तो नहीं है, पर इन पांच में से तीन राज्यों में लंबे समय से लेफ्ट मूवमेंट का असर रहा हैं। इनमें केरल, त्रिपुरा और पश्चिम बंगाल शामिल हैं।
पंजाब सबसे आगे
उधर, अपनी पत्नियों से तलाक लेने के लिहाज से पंजाब का पहला स्थान है। उसके बाद पंजाब का पड़ोसी हरियाणा, सिक्किम और गुजरात का नंबर है। पंजाब और हरियाणा दोनों ही महिला उत्पीड़न के लिहाज से बदनाम रहे हैं। दोनों कन्या भ्रूण हत्या के लिहाज से भी बेहद बदनाम माने जा सकते हैं।