'सीने पर गुदवाया मोदी-शिवराज, तो सेना में नहीं मिली एंट्री'
टीकमगढ़ (मध्य प्रदेश)। देश सेवा की भावना लिए एक शख्स सेना में शामिल होना चाहता था लेकिन उसकी योजना में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान बाधा बन गए।
हुआ यूं कि ये शख्स सेना में भर्ती होने के लिए कई साल से तैयारी कर रहा था। उसे ये मौका मिल भी गया जब पूना में उसे सेना की रैली में शामिल होने का मौका मिला।
उसका आरोप है कि इस रैली में सेलेक्शन की प्रक्रिया के दौरान उसके सीने पर बने पीएम मोदी और एमपी के सीएम शिवराज सिंह चौहान के नाम वाले टैटू ही उसके रास्ते का रोड़ा बन गए। उसे इस बात की उम्मीद बिल्कुल भी नहीं थी।
जैसे ही ये शख्स सेना की भर्ती में पहुंचा टैटू देखकर अधिकारियों ने उसे आगे की प्रक्रिया से रोक दिया। इसके बाद इस शख्स ने गृहमंत्रालय, प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री को एक पत्र लिखा और इस बात की शिकायत की।
मोदी-शिवराज समेत कई मंत्रियों और अधिकारियों को लिखी चिट्ठी
पूरा मामला मध्य प्रदेश के टीकमगढ़ का है। जहां रहने वाले 23 वर्षीय सौरभ बिलगैया सेना में शामिल होना चाहते थे। सौरभ पिछले पांच साल से इसकी तैयारी में जुटे हुए थे। उन्हें इसका मौका मिल भी गया जब 19 दिसंबर 2014 को पूना में हुए सेना भर्ती में उन्हें शामिल होने का मौका मिला। हालांकि उन्होंने देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के नाम का एक टैटू अपने सीने पर बनवा रखा था। इस टैटू में उसने बड़े-बड़े अक्षरों में लिखवाया कि 'जब तक सूरज चांद रहेगा शिवराज मामा और नरेंद्र मोदी का नाम रहेगा।'
टैटू की वजह से रोका गया सेना में सेलेक्शन
जिस समय सौरभ ने ये टैटू बनवाया था तो शायद उन्हें ये पता नहीं था कि ये टैटू उनके सेना में भर्ती की राह में बाधा बन जाएंगे। दरअसल, टैटू बनवाने के बाद जब सौरभ सेना की भर्ती में पहुंचे तो अधिकारियों ने टैटू को देखकर नाराजगी जताई और भर्ती की अगली प्रक्रिया में शामिल होने से उन्हें रोक दिया।
शिवराज सिंह चौहान से मिलने की है चाहत
सौरभ को जब इस बात का पता तो जैसे उसके पैरों तले जमीन ही खिसक गई। उसका सपना बस एक टैटू से चकनाचूर होता देख सौरभ ने बड़ा कदम उठाया। उन्होंने इस मुद्दे को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्रालय, रक्षा मंत्री, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री समेत कई और अधिकारियों को पत्र लिखा और अपनी शिकायत दर्ज कराई। सौरभ की मानें तो क्या प्रधानमंत्री मोदी और सीएम शिवराज सिंह चौहान के नाम की वजह से उसका सेलेक्शन रोका गया है।
सौरभ ने चिट्ठी में लिखी मन की बात
हालांकि सौरभ ने पत्र के जरिए अपना दर्द तो बयां कर दिया लेकिन कहीं भी उसकी सुनवाई नहीं हुई। सौरभ ने पत्र के जरिए बताया कि वह कई बार मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मिलने गया लेकिन मुलाकात नहीं हो सकी। सौरभ ने बताया कि वह गरीब परिवार से है। उसने इस मुद्दे पर मुख्यमंत्री से मिलने के लिए अपनी मां के गहने तक बेंच दिए। हालांकि उसकी हसरत पूरी नहीं हुई।
'सीने पर गुदवाया मोदी-शिवराज, तो सेना में नहीं मिली एंट्री'
सौरभ ने पत्र में आगे कहा कि अगर अब मेरी मुलाकात शिवराज सिंह चौहान से नहीं हो पाती है तो वह आतंकवादी बन जायेगा या फिर आत्महत्या कर लेगा जिसकी जवाबदेही मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की होगी। सौरभ ने कहा कि वह चाहता था कि सेना में शामिल होकर देश की रक्षा में योगदान दे। उसका शव तिरंगे में लिपटा हुआ आए। सौरभ का कहना है कि जिसतरह से उसका सेलेक्शन रद्द हुआ है उससे वह बहुत परेशान है। उसने ये भी कहा कि ये उसका आखिरी पत्र है। जो उसने पूरे होशो हवास में लिखा है।