तो इसलिए घाटी में हिजबुल मुजाहिद्दीन के आतंकी लूट रहे हैं पुलिस के हथियार
जम्मू कश्मीर घाटी में बढ़ रही है हथियार लूटने की घटनांए और वजह है हिजबुल मुजाहिद्दीन। मजबूत हो रहे आतंकी संगठन को हथियारों की कमी से जूझना पड़ रहा है और सुरक्षाबलों के हथियार लूटे जा रहे हैं।
श्रीनगर। जम्मू कश्मीर घाटी में पिछले 24 घंटे में हथियार लूटने की तीन घटनाएं हुई हैं। इन घटनाओं ने राज्य में सुरक्षा एजेंसियों की चिंता दोगुनी कर दी है। हथियार लूटने की दो घटनाएं बडगाम और जम्मू में हुईं तो तीसरी घटना दूरो में हुई है जो अनंतनाग का हिस्सा है। अनंतनाग में 12 अप्रैल को वोट डाले जाने हैं।
जुलाई से आई है तेजी
घाटी
में
इन
तीनों
ही
घटनाओं
में
आतंकियों
ने
पुलिसकर्मियों
के
पास
मौजूद
राइफलों
को
छीन
लिया
और
भाग
गए।
जम्मू
की
घटना
में
एक
आतंकवादी
को
गिरफ्तार
कर
लिया
गया
तो
दूसरा
आतंकी
एके-47
राइफल
लेकर
फरार
हो
गया।
इंटेलीजेंस
ब्यूरों
(आईबी)
अधिकारियों
की
मानें
जो
जो
पैटर्न
नजर
आ
रहा
है
उसमें
तेजी
आती
जा
रही
है
और
इसकी
शुरुआत
पिछले
वर्ष
जुलाई
से
ही
हो
चुकी
है।
यह
हिजबुल
की
एक
योजना
है
और
इसके
बारे
में
संगठन
ने
पिछले
वर्ष
एक
वीडियो
जारी
करके
ऐलान
कर
दिया
था।
अधिकारी
ऐसी
घटनाओं
पर
चिंता
जाहिर
कर
रहे
हैं
और
उन्होंने
जानकारी
दी
है
कि
हिजबुल
ने
आतंकियों
से
ऐसा
करने
की
अपील
की
है।
घाटी
में
अशांति
के
दौरान
संगठन
में
युवाओं
को
शामिल
करने
के
लिए
एक
रिक्रूटमेंट
ड्राइव
की
शुरुआत
हुई
थी।
संगठन
में
युवाओं
की
भर्ती
में
तीन
गुना
तेजी
आई
है।
इंडियन आर्मी भी परेशान
आईबी अधिकारियों का कहना है कि भर्ती में एकदम से इजाफा हुआ है लेकिन हथियारों की कमी बनी हुई है। इस वजह से ही हथियार लूटने की घटनाएं बढ़ रही हैं। इन घटनाओं की योजना पहले से ही तैयार की गई है और इसका मकसद सुरक्षाबलों के सामने शर्मनाक स्थिति पैदा करना है। पिछले वर्ष जब जुलाई में हिजबुल कमांडर बुरहान वानी की मौत हुई थी उसके बाद से ही आतंकियों ने 60 सर्विस राइफल्स को लूटने की घटनाओं को अंजाम दिया है। इंडियन आर्मी ने भी इन घटनाओं पर चिंता जाहिर की है। आर्मी का कहना है कि वह स्थानीय पुलिस के साथ मिलकर काम कर रही है जिन्हें निशाना बनाया गया है।