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गोमूत्र के लाभ को तलाशेगी मोदी सरकार, कमेटी का हुआ गठन

मोदी सरकार गाय से मिलने वाले उत्पादों से होने वाले लाभ के बारे में कराएगी शोध, इसके लिए बनाई गई कमेटी

By Ankur
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नई दिल्ली। लंबे समय से गाय से मिलने वाले उत्पाद के फायदे को लेकर बहस चल रही है, लेकिन अब केंद्र सरकार ने इस बहस को खत्म करने का फैसला लिया है। इसके लिए बकायदा विज्ञान एंव तकनीक मंत्रालय ने पंचगव्य के महत्व के अध्ययन के लइए एक नेशनल स्टीयरिंग कमेटी का गठन किया है। यह कमेटी गाय से मिलने वाले उत्पादों से होने वाले लाभ का टेस्ट करेगी।

हर्षवर्धन करेंगे अध्यक्षता

हर्षवर्धन करेंगे अध्यक्षता

आपको बता दें कि पंचगव्य गाय से मिलने वाले गोबर, गोमूत्र, दूध, दही, गाय का घी, पानी सहित तीन अन्य पदार्थों को मिलाकर बनता है। ऐसे में इस पंचगव्य से होने वाले लाभ के बारे में केंद्र सरकार द्वारा गठित यह टीम इसका पूरा अध्ययन करेगी और इसकी रिपोर्ट मंत्रालय को सौंपेगी। इस कमेटी की अध्यक्षता केंद्रीय विज्ञान मंत्री डॉक्टर हर्षववर्धन करेंगे। इस कमेटी में कई संस्थानों के विद्वान शामिल हैं। मंत्रालय के अनुसार इस कमेटी का मुख्य काम है कि पंचगव्य से होने वाले लाभ के बारे में वैज्ञानिक शोध और इसकी पुष्टि करे।

पारंपरिक तरीकों को अपनाया जाएगा

पारंपरिक तरीकों को अपनाया जाएगा

पंचगव्य से जुड़े लाभ पर रिसर्च के बाद कमेटी अपनी रिपोर्ट देगी, जिसके बाद इस लाभ को लोगों तक पहुंचाने के लिए बजट भी आवंटित किया जाएगा। इस प्रोजेक्ट से जुड़े अधिकारियों की मानें तो पंचगव्य के लाभ की जानकारी के लिए बेहद ही आधुनिक तरीके का इस्तेमाल किया जाएगा। इसके लिए केला, गुड़ और नारियल की तर्ज पर परंपरागत तरीके से गिए गए शोध का तरीका अपनाया जाएगा और पंचगव्य के लाभ पर शोध किया जाएगा।

कई संस्थान लेंगे हिस्सा

कई संस्थान लेंगे हिस्सा

कमेटी को जो रिपोर्ट भेजी गई है उसके अनुसार इसे मल्टी डिसिप्लिनरी प्रोगाम बताया गया है, जिसमें कई सरकारी संस्थान और अकादमी हिस्सा लेंगे। यह रिपोर्ट 25 अप्रैल को भेजी गई है, जिसका लक्ष्य भारतीय गाय के वैज्ञानिक विलक्षणता की वैज्ञानिक पुष्टि करना है।

आईआईटी दिल्ली भी निभाएगा अहम भूमिका

आईआईटी दिल्ली भी निभाएगा अहम भूमिका

हालांकि अभी इस कार्यक्रम के लिए बजट आवंटित नहीं किया गया है, लेकिन इस प्रोजेक्ट पर प्रस्तावों की गुणवत्ता के आधार पर इसे अलग से बजट दिया जाएगा। इस कार्यक्रम में आईआईटी दिल्ली भी हिस्सा लेगा। आईआईटी दिल्ली के वैज्ञानिकों ने गाय के गोबर से बायोगैस निकालकर उसे बोतल में बंद करने के तरीके को पेटेंट कराया था, लिहाजा इसे भी इस प्रोजेक्ट में साझीदार बनाया गया है।

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English summary
Modi government to search the benefits of Cow urine and other product. For this a committee has been made.
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