सुषमा स्वराज की मदद से आखिरकार भारत आई पाकिस्तानी दुल्हन
कर्नाटक के रहने वाले डेनियल हेनरी डेवानुर ने पाकिस्तान में प्यार और शादी तो कर ली थी। लेकिन पिछले एक साल से अपनी पत्नी को हिंदुस्तान नहीं ला पा रहा था।
नई दिल्ली। इरादे मजबूत हो तो रास्ते में आने वाली तमाम मुश्किलें आसान हो जाती है। और जब आप किसी को दिल से चाहो तो दुनिया भी उससे मिलाने में आपकी मदद करती है। इस बार सुषमा स्वराज ने कर्नाटक के एक युवक की मदद उसकी दुल्हनिया को पाकिस्तान से लाने में की है।
कर्नाटक के रहने वाले डेनियल हेनरी डेवानुर ने पाकिस्तान में प्यार और शादी तो कर ली थी। लेकिन पिछले एक साल से अपनी पत्नी को हिंदुस्तान नहीं ला पा रहा था।हर ओर से निराश हाथ लगने पर उसने विदेश मंत्री सुषमा स्वराज को एक ट्वीट कर मदद मांगी। इस एक ट्वीट ने झटपट उसकी मदद कर दी। डेनियल के ट्वीट के बाद सुषमा स्वराज ने उसकी मदद की और डेनियल अपनी पत्नी को पाकिस्तान से हिंदुस्तान ला पाया।
19 अप्रैल को वह खुशी का मौका था जब डेनियल की पाकिस्तानी पत्नी सिल्विया नोरिन पाकिस्तान से भारत आयीं। दरअसल सुषमा को डेनियल द्वारा किए गए एक ट्वीट के तुरंत बाद सिल्विया को पाकिस्तान में भारत के डिप्टी हाई कमिश्नर से मिलने को कहा गया और इसके बाद उन्हें वीजा मिला तब कहीं जाकर 19 अप्रैल को इस्लामाबाद से वे नई दिल्ली पहुंची।पत्नी की वापसी के बाद डेनियल ने विदेश मंत्री को ट्वीट कर धन्यवाद कहा है।
'मैं काफी खुश हूं कि शादी के नौ माह बाद मेरी पत्नी भारत आ गयी। सुषमा स्वराज को किए गए ट्वीट के बाद मेरी पत्नी को वीजा मिल गया।'
मोबाइल कंपनी के लिए कार्यरत डेनियल ने अपनी दूर की रिश्तेदार, सिल्विया नोरिन से 25 जून 2016 को लाहौर में शादी की थी। विभाजन के पहले सिल्विया का परिवार पाकिस्तान में बस गया था। पाकिस्तान सरकार के पास डेनियल ने अपनी शादी रजिस्टर करवा ली थी और इसके लिए पाकिस्तान सरकार ने सर्टिफिकेट भी जारी कर दिया था। लेकिन कुछ टेक्निकल वजहों से वो अपनी पत्नी को नहीं ला पा रहा था। दरअसल सिल्विया को भारत लाने के लिए डेनियल को एक गैजेटेड ऑफिसर से हस्ताक्षर कराना था। डेनियल ने बताया, 'मैं स्थानीय तहसीलदार, पूर्व नगरसेवक, सांसद प्रहलाद जोशी व भारतीय दूतावास के अधिकारियों से भी मिला सभी गैजटेड ऑफिसर को स्पांसरशिप सर्टिफिकेट पर हस्ताक्षर करना था लेकिन जब भी मैं उनसे मिला तो उनका कहना था कि इसके लिए उन्हें अपने सीनियर से बात करनी होगी। इसलिए मैंने सुषमा स्वराज को ट्वीट किया क्योंकि इस तरह के मामलों में पहले उन्होंने कईयों की मदद की है।'