पृथ्वी के बाद ब्रह्मोस, भारतीय वायुसेना के हिस्से एक और सफलता
बेंगलुरु। पिछले दिनों भारत ने पृथ्वी मिसाइल का सफल परीक्षण किया था। पृथ्वी के बाद अब इंडियन एयरफोर्स ने शुक्रवार को ब्रह्मोस मिसाइल के एडवांस्ड वर्जन का सफल परीक्षण कर डाला है। वेस्टर्न सेक्टर ने शुक्रवार को ब्रह्मोस के जमीन पर वार करने वाले सुपर सोनिक क्रूज मिसाइल सिस्टम को टेस्ट किया।
अगर इंडियन एयरफोर्स की क्षमताओं पर है शक तो पढें ये रिपोर्ट
ब्रह्मोस एयरस्पेस के अधिकारियों की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक यह टेस्ट दोपहर 12 बजे किया गया। आधिकारिक प्रवक्ता की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक शुक्रवार को जो परीक्षण हुआ है वह सभी मानकों पर खरा उतरा है। परीक्षण पूरी तरह से सफल रहा और मिसाइल ने तय लक्ष्य को सही तरह से भेदा।
पढें-चीन
से
निबटने
के
लिए
क्या
है
आईएएफ
का
'प्लान
जीरो'
पिछले वर्ष इस्टर्न सेक्टर में इंडियन आर्मी ने एक अभियान के तहत माउंटेन वॉरफेयर में मिसाइल की क्षमता को परखा था और पिछले माह इसे फिर से दोहराया गया था। आधिकारिक सूत्रों की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक मिसाइल सिस्टम तीनों सेनाओं की क्षमताओं से लैस है।
कहीं भी हो दुश्मन नहीं बचेगा
हवा
के
अलावा
यह
किसी
शिप
से
भी
हमला
कर
सकती
है
और
साथ
ही
जमीन
पर
भी
दुश्मनों
के
छक्के
छुड़ा
सकती
है।
ब्रह्मोस
एयरोस्पेस
के
सीईओ
और
एमडी
सुधीर
मिश्रा
ने
बताया
कि
इस
मिसाइल
ने
फिर
से
अपनी
क्षमताओं
को
सही
साबित
किया
है।
इसके
साथ
ही
यह
एक
बार
फिर
से
दुनिया
की
सर्वश्रेष्ठ
सुपरसोनिक
मिसाइल
साबित
हुई
है।
सफलता
के
लिए
बधाई
दी
इस मौके पर उन्होंने इंडियन एयरफोर्स को इस सफलता के लिए बधाई दी और कहा कि इतने जटिल कार्य को पूरा करना आईएएफ के लिए एक नई उपलब्धि है। ब्रह्मोस मिसाइल का एक एडवास्ंड वर्जन इस वर्ष सुखोई में फिट किया जाएगा।