शहीद हंगपन दादा को अशोक चक्र, जानिए बहादुरी की कहानी
नई दिल्ली। उत्तर कश्मीर में मुठभेड़ के दौरान तीन आतंकियों को मार गिराने वाले शहीद हवलदार हंगपन दादा को अशोक चक्र से नवाजा गया है। उन्होंने 1997 में सेना की असम रेजिमेंट ज्वाइन की थी और शहादत के समय राष्ट्रीय राइफल्स में नौगाम सेक्टर में तैनात थे।
इस साल 28 मई को नौगाम सेक्टर में घुसे आतंकियों और सेना के बीच मुठभेड़ हुई थी। सूचना मिलते ही सेना ने मोर्चा संभाला और हंगपन दादा की अगुवाई में आतंकियों से लोहा लेना शुरू किया। आतंकी झाड़ियों की आड़ लेकर ऊंचाई वाली जगह से गोली चला रहे थे, ऐसे में सेना के लिए मुकाबला कठिन हो रहा था।
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हंगपन दादा ने आतंकियों से निपटने के लिए अपनी जान की परवाह किए बिना खुली चुनौती दी और आमने-सामने की लड़ाई में तीन आतंकियों को मार गिराया। उनके साथियों ने बताया कि चौथे आतंकी को मारते वक्त उन्हें गोलियां लग गईं।