हिमाचल के लाल मेजर थापा को अंतिम विदाई देने को उमड़ी भीड़
जम्मू कश्मीर में मेजर शिखर की एक जवान ने गोली मारकर हत्या कर दी। इस खबर से परिजनों का बहुत बुरा हाल हो गया है।
शिमला। राष्ट्रीय राइफल्स के जवान मेजर शिखर थापा को पूरे सैनिक सम्मान के साथ अंतिम विदाई दे दी गई। बुधवार को धर्मशाला के साथ लगते शीला चौक में सेना के जवानों ने शिखर थापा को श्रद्धाजंलि दी। इस मौके पर जिला प्रशासन के कई अधिकारी भी मौजूद रहे। शिखर थापा के परिजनों का रो-रो कर बुरा हाल है। जवान को अंतिम विदाई देने के लिए पूरा धर्मशाला उमड़ पड़ा।
Read Also: मोबाइल फोन प्रयोग करने से रोकने पर जवान ने मेजर की गोली मारकर की हत्या
मोबाइल फोन के प्रयोग को लेकर हुये विवाद के दौरान अपने ही जवान की गोली के शिकार बने मेजर शिखर थापा के पैतृक घर धर्मशाला के पास दाड़ी में गम का आलम है।
परिजनों पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है। वहीं उनके साथी उन्हें याद कर रहे हैं। घटना को सुनकर यहां भरी तादाद में लोग पहुंच रहे हैं। जिससे यहां मातम का महौल है।
हिमाचल प्रदेश जिला कांगड़ा के धर्मशाला पास दाड़ी के रहने वाले राष्ट्रीय राइफल्स के मेजर शिखर थापा को एक जवान ने आपसी कहासुनी होने पर गोली मार दी, जिसमें उनकी मौत हो गई। वह जम्मू-कश्मीर में नियंत्रण रेखा पर एक सैन्य चौकी में मेजर ने जवान को फोन का इस्तेमाल करने से रोक रहे थे। इस पर जवान गुस्से में आए और उसने मेजर को गोली मार दी, जिससे मेजर की मौके पर ही मौत हो गई।
मेजर शिखर थापा (29) पुत्र अरविंद्र कुमार थापा धर्मशाला के निकट दाड़ी के रहने वाले थे। उनकी शादी 24 जुलाई 2015 को सुविधा थापा के साथ हुई थी। वो अपने पीछे 3 महीने की मासूम बच्चे को छोड़ गए हैं। पनी पत्नी से उनकी दो दिन पहले ही बात हुई थी। तीन महीने पहले वह धर्मशाला आये थे जब उनके हाल ही में पैदा हुये बेटे का समारोह घर में था।
मेजर थापा ने 2011 में कमीशन प्राप्त किया था। वह 71 आर्मर रेजिमेंट थे,लेकिन उन्हें हाल ही में 8 राष्ट्रीय राइफल में अटैच किया गया था। उड़ी में नियंत्रण रेखा के पास उनकी तैनाती थी। दाड़ी में मेजर के निधन की खबर पहुंचते ही लोग हैरान रह गये, पूरे परिवार में शोक की लहर दौड़ गई।
उनके पड़ोसी कुलजीत ने कहा कि उन्हें मंगलवार को पहले खबर तो मिली लेकिन पहले उन्होंने तवज्जो नहीं दी लेकिन बाद में जब सेना की ओर उन्हें बताया गया कि मेजर अपने ही जवान की गोली के शिकार हो गये हैं तो उन्हें दुख हुआ कि हमारा साथी जल्दी ही हमसे बिछुड़ गया।
मेजर के पिता अरविंद कुमार थापा का रो-रोकर बुरा हाल है। बेटे के बिछुड़ने का गम वह छिपाये नहीं छिपा पा रहे। वह सेना के जवान रहे हैं व हाल ही अध्यापक के तौर पर रिटायर हुये हैं। पूरे परिवार का सेना से नाता रहा है।
मेजर थापा के दादा भी सेना में सुबेदार रिटायर हुये थे। कहते हैं कि उन्हें विश्वास नहीं कि भारतीय सेना का जवान अपने ऑफिसर को गोली मार दे जो उसे कमांड कर रहा हो। मैं भी सेना में रहा हूं लेकिन ऐसा हो नहीं सकता।
मेजर की मां पूनम थापा का रो-रो कर बुरा हाल है। उनके घर पहुंच रहे लोगों से वह बात भी नहीं कर पा रही। यही हाल पत्नी सुविधा थापा का है। वह बेसुध एक कोने में पड़ी है। पास ही छोठे छोटे बच्चे मां को राते देख खुद भी रो रहे हैं।
Read Also: पाकिस्तान ने फिर किया सीजफायर का उल्लंघन, नौगाम सेक्टर में सेना का जवान शहीद